भरतपुर में खनन के खिलाफ चल रहे धरने के बीच बाबा विजय दास ने आत्मदाह किया जहां बाबा विजय दास को गंभीर हालत के चलते दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में रेफर कर दिया गया.मंत्री विश्वेंद्र सिंह ने कहा इस तनाव पूर्ण माहौल में गलत अफवाह से तनाव बढ़ सकता है. इसलिए गलत अफवाह न फैलाए. बाबा विजय दास के आत्मदाह की घटना को लेकर प्रशासन का पूरी तरह से फेलियर रहा.बाबा विजय दास उन्हीं साधुओं में से एक थे जिन्होंने बाबा हरी बोल के साथ आत्मदाह की चेतावनी दी थी.चेतावनी के बाद बाबा विजय दास ने वहीं किया जो उन्होंने चेतावनी दी.
वहीं दूसरी तरफ बाबा हरी बोल के आत्मदाह की चेतावनी स्थगित होने के बाद भी बाबा नारायण दास टावर पर चढ़ गए.
नारायण दास के टावर पर चढ़ने के बाद सभी साधु संतों पर कड़ी नजर रखी जा सकती थी जिससे की कोई भी साधु कोई ऐसा कदम न उठाए जिससे कोई जनहानि हो उसके बाद भी बाबा विजय दास ने आत्मदाह की चेतावनी के बाद खुद को आग के हवाले कर लिया।
गलत अफवाह फैलाने वाले के खिलाफ कार्यवाही
अवैध खनन के चल रहे साधुओं के धरने को डेढ़ साल से भी ऊपर हो गया.डेढ़ साल से सांसद रंजीता कोली को कभी साधुओं का ख्याल नहीं आया लेकिन जब बाबा विजय दास ने आत्मदाह कर ली तो सांसद सीधे दिल्ली से पैसोपा पहुंची.मंत्री विश्वेंद्र सिंह ने कहा कि जो गलत अफवाह फैला देगा उसे खिलाफ कार्यवाही होगी साथ ही भाजपा हो या कोई अन्य यदि कोई कानून तोड़ने का काम करेगा तो उसके खिलाफ कार्रवाई होगी यहां तक की गिरफ्तारी भी की जाएगी.
HIGHLIGHTS
- धरने के बीच बाबा विजय दास ने आत्मदाह किया
- गलत अफवाह फैलाने वालों के खिलाफ होगी कार्रवाई
- साधुओं के धरने को डेढ़ साल से भी ऊपर हो गया
Source : Lal Singh Fauzdar