नॉन ब्रांडेड उत्पादों पर पांच फीसदी जीएसटी लगने के विरोध में आगरा के थोक खाद्यान्न व्यापारियों ने बाजार बंद रखा. खाद्य व्यापार समिति के सदस्यों का कहना था कि केंद्र सरकार कारपोरेट घरानों के दबाव में आटा, मैदा, सूजी, गुड़, चावल, दाल सहित अन्य नॉन ब्रांडेड उत्पादों पर पांच फीसद जीएसटी लगा रही है. इस जीएसटी के लगने के बाद आम आदमी पर महंगाई का बोझ और बढ़ जाएगा, इसलिए हमने शनिवार 16 जुलाई को भारत बंद के आह्वान पर आगरा के खाद्दान्न बाजार बंद करने का निर्णय लिया.
मोतीगंज समेत तमाम बाजार रहे बंद
आगरा में व्यापारियों ने मोती गंज बाजार सहित शहर के अन्य बाजारों को बंद रखा. व्यापारियों की मांग है कि नान ब्रांडेड उत्पादों पर लगने वाले जीएसटी को वापस लिया जाए, अन्यथा ऐसा प्रदर्शन अब लगातार देखने को मिलेगा. आक्रोशित व्यापारियों का कहना है कि आटा, मैदा, दालें और गुड़ जैसी वस्तुओं पर जीएसटी लगाए जाने से सीधे तौर पर आम आदमी और गरीब प्रभावित होंगे.
ये भी पढ़ें: PM मोदी बोले, रेवड़ी कल्चर देश के विकास के लिए बहुत घातक है
आम लोगों पर न पड़े भार
व्यापारियों का कहना है कि ये लक्जीरियरस आइटम नहीं बल्कि मूलभूत जरूरतें हैं. जो रोजाना कमा और खा रहा है, उस पर इतना भार देना उचित नहीं है.
HIGHLIGHTS
- आगरा में नॉन-ब्रांडेड उत्पादों पर जीएसटी का विरोध
- व्यापारियों ने प्रतिष्ठान बंद रख जताया विरोध
- सरकार से की आम लोगों को राहत देने की मांग