मथुरा श्रीकृष्ण जन्मस्थान और शाही ईदगाह मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट ने बड़ा फैसला दिया है. इलाहाबाद हाईकोर्ट ने मथुरा की अदालत को निर्देश दिये हैं कि इस पूरे विवाद जितनी भी अर्जियां लगी हैं, उन सबका निपटारा अगले तीन माह के भीतर कर दिया जाए. इसके बाद उम्मीद बढ़ गई है कि मथुरा की अदालत शाही ईदगाह के वीडियो सर्वे की मांग को मान ले और सर्वे को मंजूरी दे दे. क्योंकि इस बाबत याचिका अदालत में पहले से लंबित है. इलाहाबाद हाईकोर्ट ने इसी मामले की सुनवाई की और कहा है कि मथुरा की अदालत इस मामले में तीन महीने के अंदर फैसला सुनाए.
तीन माह में निर्णय करने के निर्देश
जानकारी के मुताबिक, इलाहाबाद हाईकोर्ट (Allahabad High Court) ने मथुरा जन्मभूमि मंदिर (Mathura Janmbhoomi Mandir) शाही ईदगाह मस्जिद वाद में विचाराधीन अर्जियों को तीन माह में निर्णीत करने का निर्देश दिया है. यह आदेश न्यायमूर्ति विपिन चंद्र दीक्षित ने भगवान श्रीकृष्ण विराजमान व अन्य की याचिका को निस्तारित करते हुए दिया है. याचिका पर वरिष्ठ अधिवक्ता आदीश अग्रवाल और अधिवक्ता शशांक सिंह ने बहस की.
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मथुरा की अदालत में लटके हैं मामले
अधिवक्ताओं ने हाईकोर्ट में कहा कि शाही ईदगाह परिसर की साइंटिफिक रिसर्च व सर्वे कराने की मांग में सिविल जज मथुरा की अदालत में अर्जी दी गई है. विपक्षी सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड ने इसपर आपत्ति दाखिल की है. इसकी वजह से अदालत ने आदेश देने के बजाय लटकाए रखा है. इसलिए 14 अप्रैल 21को दाखिल अर्जी को तय करने का समादेश जारी करने की मांग की गई थी. जिसपर कोर्ट ने अर्जी और आपत्ति का निस्तारण करने का निर्देश दिया है.
HIGHLIGHTS
- इलाहाबाद हाई कोर्ट का बड़ा फैसला
- तीन महीने में फैसला करे मथुरा की अदालत
- याचिकाकर्ताओं की मांग मानी गई, तो होगा वीडियो सर्वे