इलाहाबाद हाईकोर्ट का एक अहम फैसला सामने आया है. इस फैसले में कहा गया है कि बच्चे के पिता कौन हैं, यह प्रमाणित करने के लिए डीएनए सबसे ज्यादा वैध और वैज्ञानिक तरीका है. इसके साथ ही डीएनए टेस्ट से पत्नी की बेवफाई भी साबित हो सकती है.
जिसके बाद मामला हाईकोर्ट पहुंचा. हाईकोर्ट ने याचिका पर सुनवाई करते हुए कहा कि शख्स बच्चे का पिता है या नहीं यह साबित करने के लिए डीएनए टेस्ट सबसे बेहतर तरीक है. कोर्ट ने कहा कि डीएनए टेस्ट से यह भी साबित हो सकता है कि पत्नी बेवफा है या नहीं.
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याची पत्नी नीलम ने हमीरपुर की फैमिली कोर्ट के आदेश को चुनौती दी थी. जिसके बाद पति राम आसरे ने फैमिली कोर्ट में डीएनए टेस्ट की मांग दाखिल की थी. फैमिली कोर्ट ने पति की अर्जी खारिज कर दिया.
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जिसके बाद मामला हाईकोर्ट पहुंचा. हाईकोर्ट के जस्टिस विवेक अग्रवाल ने कहा, 'डीएनए टेस्ट सबसे ज्यादा वैध और वैज्ञानिक तरीका है, जिससे पति अपनी पत्नी की बेवफाई प्रमाणित करने के लिए करवा सकता है. डीएनए टेस्ट सबसे ज्यादा प्रमाणित, यथोचित और सही तरीका है. इससे पत्नी की बेवफाई का भी पता चल जाएगा.
Source : News Nation Bureau