भगवान श्रीराम से जुड़े धार्मिक स्थलों का दर्शन कराकर भारत गौरव रामायण सर्किट ट्रेन ( Bharat Gaurav Ramayana circuit train ) शुक्रवार को वापस लौट आई 21 जून से शुरू हुई धार्मिक यात्रा का 8 जुलाई आज आखिरी दिन था. भगवान श्रीराम के स्थलों के दर्शन कर लौटे श्रद्धालुओं ने यात्रा को सुखद बताया. रेलवे ने आईआरसीटीसी और आरके एसोसिएट के सहयोग से भारत गौरव रामायण सर्किट ट्रेन चलाई थी. श्रीराम से जुड़े विभिन्न स्थलों का दर्शन कराने के बाद ट्रेन शुक्रवार को आगरा पहुंची. यहां से मथुरा और पलवल के रास्ते दिल्ली के लिए रवाना हो गई.
भगवान श्रीराम के स्थलों के दर्शन के लिए श्रद्धालुओं ने 18 दिन का टूर किया. ट्रेन नेपाल तक गई. अयोध्या, नेपाल, जनकपुर, सीतामढ़ी, बक्सर, वाराणसी, प्रयागराज, चित्रकूट, नासिक, हंपी, कांचीपुरम, भद्रचलन में यात्रियों ने श्रीराम से जुड़े सभी स्थलों का दर्शन किया।. डीसीएम प्रशस्ति श्रीवास्तव ने बताया कि यात्रियों से अच्छा फीडबैक मिल रहा है. आगे भी इस तरह सर्किट ट्रेनें चलाई जाएंगी. इस यात्रा का उद्देश्य श्रीराम से जुड़े ऐतिहासिक स्थलों का लोगों को दर्शन कराना था. जहां-जहां भगवान श्रीराम के चरण पड़े, उनसे जुड़े शहरों तथा स्थलों तक पहुंचाया गया.
मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्रीराम जुड़े स्थलों के दर्शन कर आए श्रद्धालुओं ने बताया कि वे इस यात्रा को करने के बाद धन्य हो गए हैं. ट्रेन में सुविधाओं अच्छी मिलीं. रामायण सर्किट ट्रेन ने उनके जीवन के एक बड़े सपने को पूरा कर दिया. वे लम्बे समय से मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्रीराम से जुड़े तीर्थस्थलों का दर्शन करना चाहते थे. इस यात्रा से यह सपना साकार हो गया.
Source : Vineet Dubey