Advertisment

हारे हुए नेताओं को बीजेपी नहीं भेजेगी विधान परिषद, फॉर्मूला तय

भाजपा इस बार नए चेहरों खासकर ऐसे नेताओं को एमएलसी चुनाव के लिए उम्मीदवार बनाएगी, जिन्होंने विधानसभा चुनाव में जमीनी धरातल पर भाजपा को जीत दिलाने के लिए काम किया है.

author-image
Nihar Saxena
एडिट
New Update
Legislative Assembly

विधानसभा चुनाव हारे नेताओं को नहीं बनाया जाएगा प्रत्याशी.( Photo Credit : न्यूज नेशन)

Advertisment

उत्तर प्रदेश में सरकार गठन को लेकर भाजपा में बैठकों का दौर लगातार जारी है. बुधवार शाम को भी भाजपा राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा (JP Nadda) की अध्यक्षता में नई दिल्ली में महत्वपूर्ण बैठक हुई, जिसमें उत्तर प्रदेश के कार्यवाहक मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ (Yogi Adityanath) के अलावा पार्टी के कई अन्य दिग्गज नेता शामिल हुए. इस बैठक में योगी सरकार के स्वरूप के साथ ही उत्तर प्रदेश में विधान परिषद (Legislative Assembly) की 36 सीटों पर होने वाले चुनाव के मद्देनजर उम्मीदवारों के चयन को लेकर भी विस्तार से चर्चा की गई. दरअसल उत्तर प्रदेश विधानसभा में प्रचंड बहुमत हासिल करने के बाद अब भाजपा उत्तर प्रदेश विधान परिषद में भी बहुमत हासिल करना चाहती है. इसलिए 9 अप्रैल को 36 सीटों पर होने जा रहा विधान परिषद का यह चुनाव भाजपा के लिए बहुत महत्वपूर्ण हो गया है.

विधान परिषद चुनाव के लिए फॉर्मूला तैयार
बताया जा रहा है कि विधान परिषद चुनाव में उम्मीदवारों के चयन को लेकर सिद्धांत के तौर पर भाजपा ने एक फॉर्मूला तैयार कर लिया है. इसके मुताबिक भाजपा इस बार हारे हुए मंत्रियों को विधान परिषद का उम्मीदवार नहीं बनाने जा रही है. गौरतलब है कि 10 मार्च को आए चुनावी नतीजों में एक तरफ जहां भाजपा ने प्रचंड बहुमत हासिल कर कई मिथकों को तोड़ा तो वहीं दूसरी तरफ योगी सरकार के 11 मंत्री अपनी विधानसभा सीट नहीं बचा पाए. उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य, सुरेश राणा, राजेंद्र प्रताप सिंह उर्फ मोती सिंह, चंद्रिका प्रसाद उपाध्याय, आनंद स्वरूप शुक्ल, उपेंद्र तिवारी, सतीश द्विवेदी, लखन सिंह राजपूत, छत्रपाल सिंह गंगवार, रणवेंद्र सिंह और संगीता बलवंत जैसे योगी सरकार के दिग्गज मंत्रियों को चुनाव में हार का सामना करना पड़ा. 

यह भी पढ़ेंः भद्राकाल के पुच्छ में इस समय से शुरू होगा होलिका दहन का मुहूर्त, कर सकते हैं ये प्रभावकारी उपाय

हारे हुए नेता नहीं बनेंगे प्रत्याशी
पहले यह कहा जा रहा था कि इनमें से कुछ नेताओं को उनके बड़े कद की वजह से विधान परिषद में लाकर मंत्री बनाया जा सकता है, लेकिन अब पार्टी ने सैद्धांतिक तौर पर हारे हुए नेताओं को विधान परिषद चुनाव में उम्मीदवार नहीं बनाने का फैसला कर लिया है. बताया जा रहा है कि भाजपा इस बार नए चेहरों खासकर ऐसे नेताओं को एमएलसी चुनाव के लिए उम्मीदवार बनाएगी, जिन्होंने विधानसभा चुनाव में जमीनी धरातल पर भाजपा को जीत दिलाने के लिए काम किया है. आपको यह भी बता दें कि चुनाव हारने वाले दिग्गज नेताओं में से एक केशव प्रसाद मौर्य पहले से ही विधान परिषद के सदस्य हैं.

HIGHLIGHTS

  • 9 अप्रैल को 36 सीटों पर होने जा रहा है विधान परिषद चुनाव
  • जमीन पर काम करने वाले नेताओं को बनाया जाएगा प्रत्याशी
  • विस चुनाव हारे हुए नेताओं को उम्मीदवार नहीं बनाएगी बीजेपी
BJP Yogi Adityanath JP Nadda बीजेपी योगी आदित्यनाथ candidates चुनाव जेपी नड्डा Winners Legislative Assembly MLC विधान परिषद एमएलसी
Advertisment
Advertisment
Advertisment