राजधानी लखनऊ में सर्दी दिन प्रति दिन अपनी उपस्थिति मजबूत करती जा रही है. रात में पारा 10 डिग्री सेल्सियस से भी नीचे पहुंच जा रहा है. वहीं सर्दी की मजबूती के आगे लखनऊ नगर निगम कमजोर दिखाई दे रहा है. खुद नगर निगम का दावा है कि लखनऊ में 3 हज़ार लोग बेघर हैं. लेकिन इन बेघरों के लिए शहर में ना तो कहीं रैन बसेरे दिखाई देते हैं ना कहीं सड़कों पर अलाव जलता दिखाई देता है. हालांकि नगर निगम की गुलाबी फाइलों में 40 रैन बसेरे चल रहे हैं और शहर के सभी वार्ड में अलाव भी जल रहे हैं. जिनका धुंआ सिर्फ नगर निगम की फाइलों में उठ रहा है और ठेकेदार और कर्मचारियों, अधिकारियों की जेबों को ही गर्म कर रहा है. नगर निगम अगर ऐसे ही गैरजिम्मेदार बना रहा और सर्दी और बढ़ी तो सड़क पर खुले आसमान के नीचे सोने वालों को इस लापरवाही का खामियाजा भुगतना पड़ सकता है.
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सर्द होते मौसम और नगर निगम की हीलाहवाली पर राजधानी में सियासत पुरजोर गर्म है. विपक्ष नगर निगम की कोताही के लिए सरकार और मेयर को जिम्मेदार बता रहा है, जबकि BJP बेहतरी का भरोसा दे रही है.
Source : News Nation Bureau