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धर्मांतरण मामले : मौलाना कलीम सिद्दीकी को ATS की रिमांड में भेजा

धर्मांतरण मामले में मौलाना कलीम सिद्दीकी को गिरफ्तार कर लिया गया है. इसके बाद यूपी एटीएस ने गुरुवार को मौलाना कलीम सिद्दीकी को कोर्ट में पेश किया, जहां कोर्ट ने एटीएस को 10 दिनों की रिमांड दे दी है.

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Deepak Pandey
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Maulana Kalim Siddiqui

मौलाना कलीम सिद्दीकी को ATS की रिमांड में भेजा( Photo Credit : फाइल फोटो)

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धर्मांतरण मामले में मौलाना कलीम सिद्दीकी को गिरफ्तार कर लिया गया है. इसके बाद यूपी एटीएस ने गुरुवार को मौलाना कलीम सिद्दीकी को कोर्ट में पेश किया, जहां कोर्ट ने एटीएस को 10 दिनों की रिमांड दे दी है. शुक्रवार सुबह 10 बजे से रिमांड की अवधि शुरू होगी. NIA/ATS कोर्ट ने एटीएस को कस्टडी रिमांड दी. ATS ने पूछताछ के लिए टीम का गठन किया है. मौलाना कलीम सिद्दीकी ग्लोबल पीस सेंटर के अध्यक्ष हैं और जमीयत-ए-वलीउल्लाह के भी अध्यक्ष हैं. उनको मेरठ से गिरफ्तार किया गया है. मुफ्ती काजी और उमर गौतम की इस मामले में पहले ही गिरफ्तारी हो चुकी है. दोनों से कलीम सिद्दीकी के लिंक मिले हैं. आरोप है कि विदेश से करोड़ों रुपये कलीम सिद्दीकी के खाते में आए थे.  यूपी एटीएस के मुताबिक, मौलाना कलीम सिद्दीकी के खाते में 1.5 करोड़ रुपये बहरीन से आए थे. उनके अकाउंट में कुल 3 करोड़ रुपये आए थे.

जानकारी के मुताबिक मुजफ्फरनगर के फुलत गांव निवासी मौलाना कलीम सिद्दीकी (64 वर्ष) देश के बड़े इस्लामिक विद्वानों में से एक हैं. वह फुलत के मदरसा जामिया इमाम वलीउल्लाह इस्लामिया के निदेशक भी हैं. बताया जा रहा है कि मंगलवार शाम सात बजे साथी मौलानाओं के साथ लिसाड़ीगेट के हूमायुंनगर में मस्जिद माशाउल्लाह के इमाम शारिक के घर पर आयोजित एक दावत में आए थे. रात करीब 9 बजे वे 3 अन्य साथी मौलानाओं और ड्राइवर समेत यहां से मुजफ्फरनगर के लिए निकले, लेकिन कई घंटों बाद भी घर नहीं पहुंचे. परिजनों ने कॉल किया तो सभी का फोन स्विच ऑफ आया.

5 लाख लोगों का धर्मणांतर कराने का लगा था आरोप

जून माह में यूपी में पकड़े गए धर्मांतरण रैकेट (UP Conversion Racket) से भी मौलाना कलीम सिद्दीकी का नाम जुड़ा था. यूपी एटीएस (UPATS) के मुताबिक उमर गौतम (Umar Gautam)और उसके साथियों ने IDC संस्था के जरिए लोगों का धर्मांतरण कराया था. उमर गौतम ने पूछताछ में खुलासा किया है कि उसके साथी मौलाना कलीम सिद्दीकी ने बीते सालों में 5 लाख से भी ज्यादा लोगों का धर्म परिवर्तन कराया है. IDC के जरिए नाबालिगों के धर्मांतरण को भी अंजाम दिया जा रहा था.

ब्रिटिश संस्था से गिरोह को हुई थी 57 करोड़ की फंडिंग

यूपी ADG प्रशांत कुमार ने बताया कि 20 जून को अवैध धर्मांतरण गिरोह संचालित करने वाले लोग गिरफ्तार किए गए थे. उमर गौतम और इसके साथियों को ब्रिटिश आधारित संस्था से लगभग 57 करोड़ रुपये की फंडिंग की गई थी। जिसके खर्च का ब्योरा अभियुक्त नहीं दे पाए. आगे बताया गया कि इस संबंध में आज के अभियुक्त को छोड़कर कुल 10 लोग गिरफ्तार हुए थे जिसमें से 6 के खिलाफ चार्जशीट दाखिल की जा चुकी है, 4 के खिलाफ जांच चल रही है.

Source : News Nation Bureau

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