वाराणसी (varanasi) में गंगा के जलस्तर के बढ़ने के कारण पहली बार काशी विश्वनाथ धाम में गंगा (Ganga) का पानी घुस गया है. दरअसल ये पानी ललिता घाट से होते हुए गंगा का पानी काशी विश्वनाथ धाम (vishwanath dham) के पिछले गेट से घुसा जिससे काशी विश्वनाथ धाम का पिछला हिस्सा गंगा में समा गया है. दूसरी तरफ वाराणसी में गंगा खतरे के निशान से ऊपर बह रही है. आलम यह है कि तटवर्ती इलाके पूरी तरह से डूब चुके हैं और गंगा रिहायशी इलाकों की तरफ बढ़ चली है. वाराणसी का सामने घाट का इलाका डूब रहा है. सामने घाट और लंका की सड़क पर पानी आ चुका है. ऐसे में जो मुख्य बाजार है वह भी जलमग्न होते जा रहे हैं और कॉलोनियों में जाने के लिए या फिर अपने दुकान तक पहुंचने के लिए लोगों को नाव का सहारा लेना पड़ रहा है.
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इसके अलावा लागतार पानी बढ़ने से आलम ये है कि तटवर्ती इलाकों में पानी घुसने के बाद अब रिहायशी इलाकों में पानी आ गया है. वाराणसी के सामने घाट स्थित मारुति नगर कॉलोनी पूरी की पूरी नदी में तब्दील हो गया है. बहुत मुश्किलों के साथ दिन रात वहां एनडीआरएफ की टीम लोगों को रेस्क्यू कर रही है. एनडीआरएफ के सेकंड इन कमांड देवेंद्र सिंह ने बताया कि एनडीआरएफ की 6 बोट और जवान 24 घंटे तैनात है और अब तक हमलोगों ने एक हजार से अधिक लोगों का रेस्क्यू कर चुके हैं, पर कुछ लोग ऐसे हैं जो चोरी के घर से अपना घर छोड़ने को तैयार नहीं है, लेकिन हमलोग सभी को सुरक्षित जगह पर ले जाने की पूरी कोशिश कर रहे है. इस समय वाराणसी में गंगा खतरे के निशान से एक मीटर ऊपर बह रही है. चिंता की बात ये है कि अभी भी गंगा लगातार एक सेंटीमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से बढ़ रही है जिससे परेशानी और भी बढ़ती जा रही है.