वैसे तो दुनिया के कई देशों में बिल्लियों की प्रजातियों और उनसे प्यार करने वालों के बारे में आपने देखा और सुना होगा, लेकिन आज हम आपको एक ऐसे डायमंड कैट के बारे में बताएंगे जो प्रतापगढ़ जिले में चर्चा का विषय बन गई है. हर कोई गोल्डन और ब्लू आंखों वाली इस बिल्ली को देखना चाहता है. पुरातत्व और जीव जंतु शास्त्रियों की मानें तो इस तरह की बिल्ली थाइलैंड में मिलती है जिसे खाऊ मनी कैट के नाम से भी जाना जाता है और अंतरराष्ट्रीय बाजार में इसकी कीमत लाखों में है. मान्यता है कि जिस घर में यह बिल्ली रहती है वह दिन दूना रात चौगुनी तरक्की करता है और उसके बिगड़े हुए काम बन जाते हैं.
प्रतापगढ़ जिले के सराय आना देव गांव की जहां स्पोर्ट्समैन अभिनव सिंह के पास एक गोल्डेन और ब्लू आंखों वाली अनोखी बिल्ली देखने के लिए दूरदराज से आए हुए लोगों का जमावड़ा लगा रहता है. बातचीत के दौरान अनोखी बिल्ली के देखरेख करने वाले स्पोर्ट्समैन अभिनव सिंह ने बताया कि यदि उन्हें मध्य प्रदेश के बैतूल जिले के जंगल में उस वक्त मिली जब वह अपने बुआ के घर जा रहे थे, कुत्तों से घिरे इस बिल्ली को न सिर्फ अभिनव ने बचाया, बल्कि उसे लेकर अपने बुआ के घर पहुंच गए. इसके बारे में में जब इंटरनेट और विकिपीडिया में सर्च किया गया तो इस अनोखी बिल्ली की पहचान थाइलैंड के खाऊ मनी कैट के रूप में हुई, जिसे वहां के राजा महाराजा शुभ मानते हुए अपने घरों में पालते थे.
इसकी जानकारी होने के बाद अभिनव का पूरा परिवार बेहद ही खुश है और इस बिल्ली को अपने परिवार का हिस्सा मानते हुए घर के बाहर सीसीटीवी की निगरानी में रखा है. न्यूज़ स्टेट से बातचीत करते हुए अनुभव ने बताया कि इस बिल्ली के मिलते ही उनका नौकरी से रातों रात प्रमोशन हुआ, बल्कि आज सोसाइटी में उनकी अलग पहचान भी है बिल्ली को खरीदने के लिए कई लोगों के फोन भी आते हैं, लेकिन वह इस बिल्ली को आजीवन अपने पास रखेंगे और इसे आप अपने घर का सदस्य बना लिए हैं.
खाऊ मनी कैट के बारे में पुरातत्व विभाग और जीव जंतु विभाग के विशेषज्ञ डॉक्टर पीयूष कांत उपाध्याय का मानना है कि नीली और सुनहरी आंखों वाली इस तरीके की बिल्ली थाइलैंड में पाई जाती है जो सुख समृद्धि का प्रतीक है और अंतरराष्ट्रीय बाजार में इसकी कीमत 7 से ₹11000 डालर में है जिसे राजा महाराजा अपनी समृद्धि का प्रतीक मानते थे और यदि भारत देश में यह बिल्ली पाई गई है तो इसकी प्रजाति अवश्य ही देश में होगी जो कि दुर्लभ है इसके लिए सरकार को पहल करनी चहिए जिससे लुप्त हुई अंतरराष्ट्रीय प्रजाति को बचाया जा सके.
Source : Brijesh Mishra