गोरखपुर के बाबा राघव दास (बीआरडी) मेडिकल कॉलेज में कथित तौर पर ऑक्सीजन की कमी से हुई 60 मौत पर जिला अधिकारी (डीएम) ने अपनी रिपोर्ट मुख्यमंत्री कार्यालय को सौंप दी है। रिपोर्ट में मरीजों के इलाज के बीआरडी मेडिकल कॉलेज में ऑक्सीजन बाधित होने की बात स्वीकार की गई है।
आपको बता दें की अभी तक राज्य की योगी सरकार ऑक्सीजन की कमी से मौत की बात से इनकार करती रही है।
डीएम ने अपनी रिपोर्ट में ऑक्सीजन सप्लाई करने वाली कंपनी पुष्पा सेल प्राइवेट लिमिटेड, ऑक्सीजन यूनिट के इंचार्ज डॉक्टर सतीश और ऑक्सीजन खरीदने वाली समिति के अध्यक्ष को जिम्मेदार ठहराया है।
हालांकि ऑक्सीजन की आपूर्ति करने वाले फर्म का कहना है कि अस्पताल को ऑक्सीजन की आपूर्ति का अनुबंध मार्च में ही समाप्त हो गया था। उसके बाद अनुबंध का नवीनीकरण नहीं किया गया।
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डीएम ने अपनी रिपोर्ट में डॉक्टर कफील खान का जिक्र किया गया है। रिपोर्ट में कहा गया है कि डॉक्टर सतीश (एनेस्थेसिया विभाग के प्रमुख) दिनांक 11/8/2017 से बिना लिखित अनुमति के बीआरडी मेडिकल कॉलेज से अनुपस्थित हैं।
डीएम ने रिपोर्ट में बीआरडी मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल राजीव मिश्रा को भी दोषी बताया है। राजीव मिश्रा को कंपनी को बकाया रुपया भुगतान न करने के लिए दोषी ठहराया गया है।
बीआरडी मेडिकल कॉलेज में बच्चों की मौत के बाद प्रिंसिपल राजीव मिश्रा को लापरवाही और प्रशासनिक कमियों के चलते पहले ही निलंबित कर दिया गया था।
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HIGHLIGHTS
- बीआरडी मेडिकल कॉलेज में ऑक्सीजन बाधित होने की बात स्वीकार की गई
- डीएम ने रिपोर्ट मेें, ऑक्सीजन सप्लाई करने वाली कंपनी पुष्पा सेल प्राइवेट लिमिटेड को जिम्मेदार ठहराया
- डीएम ने रिपोर्ट में बीआरडी मेडिकल कॉलेज के प्रिंसिपल राजीव मिश्रा को भी दोषी बताया
Source : News Nation Bureau