कोरोना वायरस (Corona Virus) की दहशत की बीच शिया वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष वसीम रिजवी (Wasim Rizvi) का बड़ा बयान आया है. उन्होंने कहा कि अगर उनकी मौत कोरोना वायरस से होती है, तो उन्हें दफनाए नहीं. उन्हें जलाया जाए. उनका ये बयान सुर्खियों में आ गया है. उन्होंने कहा कि दफनाने की जगह जलाया जाए, जिससे संक्रमण ना फैलें. साथ ही उन्होंने वक्फ बोर्ड के मस्जिद और मदरसों पर भीड़ जमा होने पर रोक के आदेश दिए हैं.
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श्रमिकों के सामने रोजी रोटी का संकट
कोरोना को कारण लोगों की जिंदगी एकदम ठहर सी गई है. सब बंद होने के कारण दिहाड़ी मजदूर और श्रमिकों के सामने रोजी रोटी का संकट खड़ा हो गया है. लोगों को इस महामारी के कारण खानपान की दिक्कत न हो इसके लिए प्रदेश की योगी आदित्यनाथ लोगों ने बड़ी राहत दी है. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने घोषणा की है कि गरीब और दिहाड़ी मजदूरों को सरकार एक महीने का मुफ्त खाद्यान देगी. इसके अलावा श्रम विभाग में पंजीकृत 20.37 लाख श्रमिकों के खाते में सरकार एक हजार रुपये डीबीटी के माध्यम से देगी.
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कोरोना वायरस के अब तक 23 मामले सामने आए
योगी आदित्यनाथ ने कहा कि लोगों को भीड़ भाड़ वाली जगहों पर जाने से अहतियात बरतने की जरूरत है. प्रदेश में कोरोना वायरस के अब तक 23 मामले सामने आए हैं. इनमें से 9 मरीज पूरी तरह स्वस्थ हो चुके हैं. उन्होंने कहा कि इससे घबराने की जरूरत नहीं है बल्कि जागरुकता के साथ इससे मुकाबला करना चाहिए. प्रदेश में अहतियात के तौर पर स्कूल, कॉलेज, मल्टीप्लेक्स, मॉल, जिम, स्विमिंग पूल पहले ही बंद कर दिए गए हैं.
कोरोना वायरस के खतरे से बचाव और नियंत्रण के लिए चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री रोहित कुमार सिंह ने निजी अस्पतालों और चिकित्सा संस्थानों के लिए एजवाइजरी जारी की है. एडवाइजरी के अनुसार सभी अस्पतालों को इंडोर, आउटडोर, प्रशासन और प्रचार—प्रसार से जुडे कुछ विशेष दिशा—निर्देश जारी किए हैं.
निजी अस्पतालों में इंडोर फैसेलिटी के लिए
अति आवश्यक सर्जरी के अलावा सामान्य सर्जरी टाली जाए.
अस्पतालों में कुछ बैड को आइसोलन के हिसाब से तैयार रखा जाए, ताकि जरूरत पडने पर उनका उपयोग किया जा सके.
सभी अस्पतालों में पर्याप्त मात्रा में मास्क,ग्लव्ज, पर्सनल प्रोटेक्शन इक्विपमेंट व अन्य सामग्री रखी जाए.
सभी चिकित्साकर्मियों को संक्रमण बचाव और संक्रमण नियंत्रण का प्रशिक्षण दिया जाए किसी भी आपातकाल के लिए स्टाफ को पर्याप्त प्रशिक्षण दिया जाए.
सभी अस्पताल पर्याप्त संख्या में वेंटिलेटर और हाई फ्लो ऑक्सीजन मास्क तैयार रखें.