कानपुर एनकाउंटर (Kanpur Encounter) के कारणों का पता चल गया है. यूपी पुलिस लगातार गुत्थी सुलझाने में लगी है. 6 बीघा जमीन 8 पुलिसकर्मियों के शहादत का कारण बनी. पारिवारिक कलह के चलते 8 पुलिसर्मियों की निर्मम हत्या हुई. गैंगस्टर विकास दुबे (Vikas Dubey) और उसके बहनोई राहुल तिवारी के बीच ग्राम पंचायत की 6 बीघा जमीन के विवाद के चलते खूनी मुठभेड़ देखने को मिली. जिसमें 8 पुलिसकर्मी शहीद हो गए. इस घटना के बाद गैंगस्टर विकास दुबे की शिकायत करने वाला राहुल तिवारी परिवार समेत लापता है. बता दें कि मोहनी निवादा गांव का रहने वाला राहुल तिवारी ने घनश्यामपुर ग्राम पंचायत की 6 बीघा ज़मीन को लेकर चल रहे विवाद के चलते दुबे के खिलाफ अपहरण का प्रयास, जानलेवा हमले की शिकायत चौबेपुर थाने में की थी. 8 पुलिसकर्मियों की हत्या के एक दिन पहले तत्कालीन थानाध्यक्ष विनय तिवारी जांच के लिए विकास दुबे के पास गए थे.
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थानाध्यक्ष के साथ की थी मारपीट
विकास दुबे ने अपने घर पर थानाध्यक्ष के साथ मारपीट की और उनपर बंदूक भी तानी. हालांकि अपने साथ हुई बदसलूकी की घटना की जानकारी विनय तिवारी ने वरिष्ठ अधिकारियों को नहीं दी. विनय तिवारी पर पुलिस रेड से पहले विकास दुबे को कथित सूचना के आरोप में उसे सस्पेंड भी कर दिया है. एसटीएफ उनसे लगातार पूछताछ कर रही है. वहीं कानपुर के आईजी मोहित अग्रवाल ने बताया कि घटना के बाद से शिकायतकर्ता राहुल तिवारी भी अपने परिवार के साथ लापता है. उसकी तलाश भी की जा रही है. हालांकि कानपुर पुलिस में सूत्रों ने बताया कि राहुल तिवारी और उसके परिवार को पुलिस की देखरेख में एक सुरक्षित स्थान पर रखा गया है ताकि 8 पुलिसवालों की निर्मम हत्या करने वाला विकास दुबे और उसके गुर्गे उसे कोई नुकसान न पहुंचा सकें.
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सरकारी नम्बर BG सीरीज की गाड़ियों का खुलासा
वहीं दूसरी तरफ गैंगस्टर विकास दुबे के सरकारी नम्बर BG सीरीज की गाड़ियों का खुलासा हुआ है. गाड़ी स्वामी से गुंडई तरीके से गाड़ी झटकी थी. ACP कृष्णा नगर दीपक सिंह और उनकी टीम ने किया खुलासा. गैंगस्टर विकास दुबे के सरकारी नम्बर BG सीरीज की गाड़ियों का खुलासा हुआ है. गाड़ी स्वामी से गुंडई तरीके से गाड़ी झटकी थी. ACP कृष्णा नगर दीपक सिंह और उनकी टीम ने किया खुलासा. पीड़ित की तहरीर पर विकास दुबे के खिलाफ कृष्णा नगर कोतवाली में 386, 420, 467, 468, 471 धाराओं में मामला दर्ज है. इसके अलावा शातिर गैंगस्टर विकास दुबे लखनऊ स्थित आवास पर बरामद हुई एंबेसडर कार का भी खुलासा हुआ. एसीपी कृष्णा नगर दीपक सिंह एवं उनकी टीम द्वारा कड़ी जांच पड़ताल के बाद खुलासा हुआ. मौजूदा वाहन स्वामी तक पुलिस पहुंच गई है. पुलिस के मुताबिक़ परिवहन विभाग द्वारा 2009 में एंबेसडर कार UP 32 BG 0156 नीलामी के उपरांत विनीत पांडे नामक व्यक्ति ने नीलामी में खरीदी थी. नीलामी में विनीत पांडे मौजूदा गाड़ी स्वामी ने पूछताछ में किया खुलासा. गाड़ी मालिक विनीत पांडे ने लिखित तहरीर दी है.