कानपुर में पुलिस द्वारा मारे गए गैंगस्टर विकास दुबे और उसके सहयोगियों को हथियार लाइसेंस जारी करने की जांच शुरू कर दी है. न्यायिक आयोग की रिपोर्ट के आधार पर सरकार ने सुप्रीम कोर्ट के निर्देश पर जांच शुरू की है. संभागीय आयुक्त राज शेखर और एडीजी भानु भास्कर मामले में जांच के दायरे में आए अन्य विभागों के प्रशासन और पुलिस अधिकारियों और कर्मचारियों की जांच करेंगे.
दोनों अधिकारियों ने संबंधित कर्मचारियों को नोटिस भेजकर जवाब दाखिल करने को कहा है. 3 जुलाई, 2020 को बिकरू की घटना के बाद पता चला कि विकास दुबे और उनके सहयोगियों को शस्त्र लाइसेंस जारी किए गए थे, भले ही उनके खिलाफ गंभीर मामले दर्ज थे.
जांच में पता चला कि शस्त्र लाइसेंस जारी करने और भूमि विवाद से जुड़े अन्य मामलों में भी उचित प्रक्रिया का पालन नहीं किया गया. एडीजी भानु भास्कर ने कहा कि सरकार के आदेश पर संबंधित लोगों के खिलाफ जांच शुरू कर दी गई है. उन्होंने कहा, प्रशासनिक हिस्से की जांच संभागीय आयुक्त करेंगे, जबकि मैं पुलिस विभाग के कर्मचारियों की भूमिका की जांच करूंगा.
3 जुलाई 2020 को जिले के बिकरू गांव में विकास दुबे के घर गई पुलिस की टीम. पुलिस टीम पर दुबे और उसके साथियों ने हमला किया था जिसमें बिल्हौर के तत्कालीन सीओ देवेंद्र मिश्रा समेत आठ पुलिसकर्मी शहीद हो गए थे.
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Source : IANS