उत्तर प्रदेश के पूर्व मंत्री और बसपा नेता हाजी याकूब कुरैशी के स्वामित्व वाली एक मीट फैक्ट्री पर पुलिस, माप विभाग, प्रदूषण बोर्ड और अन्य विभागों की एक संयुक्त टीम ने छापेमारी की. बताते हैं कि कारखाने का लाइसेंस समाप्त होने की शिकायतों के बाद छापेमारी की गई थी. फैक्ट्री के पास लाइसेंस नहीं होने के बावजूद मांस का प्रसंस्करण और पैकेजिंग अभी भी जारी थी. कारखाने में बड़ी मात्रा में मांस बरामद हुआ है, जिसका वजन 300 टन बताया जा रहा है. इस मांस की कीमत करोड़ों में बताई जा रही है.
सूत्रों ने बताया कि ये छापेमारी गुरुवार की देर रात समाप्त हुई. फैक्ट्री में मिले संदिग्ध 'गाय के मांस' का सैंपल जांच के लिए भेजा गया है. हापुड़ रोड पर स्थित फैक्ट्री, अल फहीम मीटेक्स प्राइवेट लिमिटेड, मध्य पूर्व और अन्य देशों में पैकेज्ड मीट का निर्यात करती है. हाजी याकूब के बेटे इमरान कुरैशी ने कहा कि वह शहर से बाहर हैं और उन्हें छापेमारी के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं है. हालांकि उन्होंने दावा किया कि कारखाने में कोई अवैध काम नहीं हुआ है.
उन्होंने कहा, 'मांस के कुछ पैकेट स्थानांतरित करते समय क्षतिग्रस्त हो गए और उन्हें फिर से पैक किया जा रहा था.' बसपा नेता हाजी याकूब ने 2019 का लोकसभा चुनाव लड़ा था और अपने निकटतम प्रतिद्वंद्वी भाजपा के राजेंद्र अग्रवाल से मामूली अंतर से हार गए थे. वह यूपी में बसपा सरकार में मंत्री थे और 2006 में पैगंबर मोहम्मद का कैरिकेचर बनाने वाले डेनिश कार्टूनिस्ट के सिर पर इनाम की घोषणा के बाद सुर्खियों में आए थे.
HIGHLIGHTS
- डेनिश कार्टूनिस्ट के सिर पर इनाम रखने से आए थे चर्चा में
- लाइसेंस खत्म होने के बावजूद जारी था अवैध मांस का कारोबार