उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव से करीब चार माह पहले हुए योगी सरकार के मंत्रिमंडल विस्तार (Cabinet Expansion) के बाद सभी नए मंत्रियों को मंत्रालय का आवंटन कर दिया गया है. उत्तर प्रदेश सरकार में बतौर कैबिनेट मंत्री शामिल हुए जितिन प्रसाद को प्राविधिक शिक्षा विभाग की जिम्मेदारी सौंपी गई है. पहले कमला रानी वरूण के पास ये विभाग था. राज्य मंत्री छत्रपाल सिंह गंगवार को राजस्व विभाग, राज्य मंत्री संजीव कुमार को समाज कल्याण, अनुसूचित जाति एवं जनजाति कल्याण विभाग, राज्य मंत्री दिनेश खटीक को जल शक्ति एवं बाढ़ नियंत्रण विभाग सौंपा गया है.
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यूपी विधानसभा चुनाव 2021 को देखते हुए योगी कैबिनेट में 7 नए मंत्रियों को शामिल किया गया है. इस मंत्रियों से जातीय और क्षेत्रीय समीकरणों को साधने का प्रयास किया गया है. मंत्रियों की शपथ के बाद कैबिनेट मंत्री जितिन प्रसाद को प्राविधिक शिक्षा विभाग का दायित्व सौंपा गया है. राज्य मंत्री संजीव कुमार को समाज कल्याण, अनुसूचित जाति एवं जनजाति कल्याण विभाग, राज्य मंत्री छत्रपाल सिंह गंगवार को राजस्व विभाग, राज्य मंत्री पल्टू राम को सैनिक कल्याण, होमगार्ड, प्रांतीय रक्षक दल एवं नागरिक सुरक्षा विभाग मिला है. साथ ही राज्य मंत्री डॉ. संगीता बलवंत को सहकारिता विभाग सौंपा गया है. धर्मवीर प्रजापति को औद्योगिक विकास विभाग की जिम्मेदारी दी गई है.
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने ट्वीट के माध्यम से सभी नए मंत्रियों को शुभकामनाएं दी हैं. उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश मंत्रिमंडल में रविवार को शामिल हुए सभी नए सदस्यों को विभागों का दायित्व प्राप्त हो गया है. मुझे विश्वास है कि आप सभी के कुशल, अनुभवी एवं कर्मठ नेतृत्व में संबंधित विभाग विकास की नई ऊंचाइयों को स्पर्श करेंगे. आप सभी के उज्जवल कार्यकाल हेतु अनंत शुभकामनाएं.
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गौरतलब है कि विधानसभा चुनाव से करीब छह माह पहले योगी आदित्यनाथ मंत्रिपरिषद का बहुप्रतीक्षित विस्तार रविवार को हो गया था. योगी मंत्रिमंडल में सात नए चेहरे शामिल किए गए। इनमें कांग्रेस छोड़कर भाजपा में आए पूर्व केंद्रीय मंत्री जितिन प्रसाद को कैबिनेट मंत्री बनाया गया, जबकि बाकी छह ने राज्यमंत्री के रूप में शपथ ली थी.
जितिन प्रसाद (कैबिनेट मंत्री)
हाल ही कांग्रेस छोड़कर बीजेपी आए जितिन प्रसाद ब्राह्मण हैं और सवर्ण वर्ग से आते हैं. जितिन उत्तर प्रदेश में ब्राह्मण समाज के बड़े नेताओं में गिने जाते हैं. पूर्व केंद्रीय मंत्री और यूपी कांग्रेस के बड़े नेता रहे हैं. 2004 में शाहजहांपुर लोकसभा सीट से पहली बार सांसद बनें. 2008 में केंद्रीय इस्पात राज्य मंत्री बनाये गये. 2009 में परिसीमन के बाद धौरहरा से लड़े और दूसरी बार सांसद बने. यूपीए 2 में सड़क परिवहन, पेट्रोलियम और मानव संसाधन विभाग में राज्यमंत्री रहें. 2014 और 2019 के लोकसभा चुनाव में धौरहरा से चुनाव हारे. 2017 के विधानसभा चुनाव में शाहजहांपुर की तिलहर विधानसभा सीट से चुनाव हारे. इनके पिता जितेन्द्र प्रसाद भी 4 बार शाहजहांपुर के सांसद रहे. राजीव गांधी और पीवी नरसिम्हा राव के राजनितिक सलाहकार रहे. जितेन्द्र प्रसाद यूपी कांग्रेस के अध्यक्ष और भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के उपाध्यक्ष रहे थे. जितेन्द्र प्रसाद 2000 में सोनिया गांधी के खिलाफ कांग्रेस अध्यक्ष का चुनाव लड़ा था.
संगीता बलवंत बिंद (राज्यमंत्री)
वहीं, संगीता बलवंत बिंद की बात करें तो गाजीपुर जिले की सदर सीट से विधायक हैं. संगीता पिछड़ी जाति बिंद समाज से आती हैं. पहली बार विधायक चुनी गयी हैं. छात्र राजनीति और पंचायत की राजनीति से सक्रिय राजनीति में आयी हैं. युवा नेता हैं और करीब 42 साल की हैं.
धर्मवीर प्रजापति (राज्यमंत्री)
धर्मवीर प्रजापति विधान परिषद के सदस्य हैं. जनवरी 2021 में विधान परिषद सदस्य बने. ये पश्चिमी यूपी से हैं और ओबीसी समाज से आते हैं. वर्तमान में माटी कला बोर्ड के अध्यक्ष हैं. प्रदेश बीजेपी में कई अहम पदों पर रह चुके हैं.
छत्रपाल सिंह गंगवार (राज्यमंत्री)
छत्रपाल सिंह गंगवार बरेली जिले की बहेड़ी विधानसभा सीट से विधायक हैं. 2017 में दूसरी बार विधायक चुने गये थे. ओबीसी हैं और कुर्मी समाज से आते हैं. भाजपा के वरिष्ठ नेता हैं और करीब 65 साल के हैं. 1980 से आरएसएस में हैं, आरएसएस के प्रचारक भी रह चुके हैं.
दिनेश खटीक (राज्यमंत्री)
विधायक से राज्यमंत्री बने दिनेश खटीक मवाना थाना क्षेत्र के कस्बा फलावदा के रहने वाले हैं. इन्होंने सन 2017 में पहली बार भाजपा की ओर से हस्तिनापुर विधानसभा से चुनाव लड़ा था. पहली ही बार में दिनेश खटीक ने बसपा प्रत्याशी योगेश वर्मा को पराजित कर जीत हासिल की. दिनेश खटीक शुरू से ही भाजपा में रहे हैं और संघ के कार्यकर्ता रहे हैं. इनके पिता भी संघ के कार्यकर्ता रहे हैं. इनके भाई नितिन खटीक जिला पंचायत सदस्य रह चुके हैं.
पलटू राम (राज्यमंत्री)
विधायक से ही राज्यमंत्री बने पलटू राम पुत्र बरसाती गोंडा जिला अंतर्गत परेड सरकार गांव के रहने वाले हैं. वर्ष 2017 में भारतीय जनता पार्टी के टिकट पर पलटूराम पहली बार जीतकर बलरामपुर सदर(सुरक्षित)सीट से विधायक बने. पलटू राम मूल रूप से गोंडा जिले के परेड सरकार गांव के निवासी है. वर्तमान में गोंडा जिला मुख्यालय पर इनका आवास है. इनकी पत्नी ज्ञानमती गोंडा जिला पंचायत के अध्यक्ष रह चुकी है. पलटूराम सोनकर(खटीक) बिरादरी से ताल्लुक रखते है. 2017 के चुनाव में कांग्रेस-सपा गठबंधन प्रत्याशी शिवलाल को 25000 के भारी अंतर से पराजित किया था. वर्तमान विधायक पलटूराम 51 वर्ष के हैं और परास्नातक तक शिक्षा ग्रहण की है. उन्होंने छात्र राजनीति से अपना सफर शुरू किया था. 2017 में बीजेपी के टिकट पर पहली बार विधायक चुने गए. पलटू राम प्रखर वक्ता के रूप में जाने जाते हैं और आम लोगों के बीच का काफी लोकप्रिय है.
संजीव कुमार गोंड (राज्यमंत्री)
संजीव कुमार उर्फ संजय गोंड सोनभद्र की ओबरा सीट से 2017 में पहली बार विधायक बने थे. यह सोनभद्र के 'गोंड' अनुसूचित जनजाति से आते हैं, इस प्रकार उन्हें मंत्रिमंडल विस्तार में एसटी समुदाय का प्रतिनिधित्व करने वाले विधायक के रूप में राज्यमंत्री बनाया गया है.