अमरनाथ गुफा (Amarnath cave) के करीब शुक्रवार शाम को हुए हादसे के बाद से राहत और बचाव कार्यों को लेकर अब भी जद्दोजहद जारी है. इस दौरान जम्मू कश्मीर (Jammu Kashmir) के उपराज्यपाल ने एक उच्चस्तरीय बैठक की. इस दौरान कई अहम निर्णय लिए गए. उपराज्यपाल ने गुफा के ऊपर की ओर से हवाई सर्वे करने का आदेश दिया है. इस तरह से यह तय किया जाएगा कि कोई और अनजान खतरा तो नहीं पनप रहा है. इसके साथ बाढ़ के संभावित रास्ते में आने वाले टेंटों को हटाने को कहा गया है. बादल फटने की घटना के बाद लापता लोगों की तलाश जारी है. चट्टानें काटने के लिए मशीनों का बंदोबस्त किया है.
अमरनाथ यात्रा हादसे में अभी तक 16 लोगों की मौत की पुष्टि हुई है. करीब 40 लोग लापता बताए जा रहे हैं. इस हादसे में करीब 65 लोग घायल हुए हैं. इनका अलग-अलग अस्पतालों को इलाज जारी है. सेना, बीएसएफ, आईटबीपी, एनडीआरएफ, एसडीआरएफ के साथ प्रशासन के अधिकारी कर्मचारी राहत और बचाव कार्य में लगे हुए हैं. हालात की समीक्षा और बचाव कार्य की प्रगति के हालात लेने के लिए उपराज्यपाल मनोज सिन्हा की अध्यक्षता में श्रीनगर में उच्चस्तरीय बैठक हुई.
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इस बैठक में थलसेना, पुलिस वायुसेना और नागरिक प्रशासन के कई बड़े अधिकारियों ने हिस्सा लिया. इस दौरान 15वीं कोर के जीओसी लेफ्टिनेंट जनरल एस.एस.औजला और पुलिस महानिदेशक दिलबाग सिंह ने उपराज्यपाल को पवित्र गुफा के पास चल रहे बचाव अभियान की सूचना दी. कई घायलों को अस्पताल से छुट्टी दी जा चुकी है. श्रीनगर के बेस अस्पताल में कुछ लोगों का इलाज जारी है. जीओसी ने बताया कि बचाव और राहत अभियान में लगी एजेंसियां एक दूसरे के सहयोग से काम कर रही हैं.
हालात को देखते हुए अमरनाथ यात्रा को अभी निलंबित करने का निर्णय लिया है. रविवार को यात्रा पर पाबंदी लगाई गई. सोमवार को यात्रा शुरू करने पर विचार के लिए उच्चस्तरीय बैठक होनी है. इसमें हालात को देखते हुए निर्णय लिया जाएगा.
HIGHLIGHTS
- अमरनाथ यात्रा हादसे में अभी तक 16 लोगों की मौत की पुष्टि हुई है
- बाढ़ के संभावित रास्ते में आने वाले टेंटों को हटाने को कहा गया है
- चट्टानें काटने के लिए मशीनों का बंदोबस्त किया है