त्रिवेंद्र सिंह रावत ने उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया है. त्रिवेंद्र सिंह रावत ने राज्यपाल बेबी रानी मोर्या से मुलाकात की और उन्हें अपना इस्तीफा सौंपा. राज्यपाल बेबीरानी मौर्य से मुलकात के बाद त्रिवेंद्र सिंह रावत ने मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया. भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) में विधायकों और कुछ मंत्रियों में नाराजगी के चलते त्रिवेंद्र सिंह रावत को अपने पद से इस्तीफा देना पड़ा है. इन नेताओं की नाराजगी जाहिर करने के बाद त्रिवेंद्र सिंह रावत के मुख्यमंत्री बने रहने पर संकट जारी था. इसके बाद से ही केंद्रीय नेतृत्व इस मसले पर मंथन कर रहा था. तभी से कयास लगाए जा रहे थे कि त्रिवेंद्र सिंह रावत की मुख्यमंत्री पद से छुट्टी हो सकती है.
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इस्तीफा देने के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस में त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा कि मैं लंबे समय से राजनीति कर रहा हूं. चार वर्षों से पार्टी ने मुझे सीएम के रूप में सेवा का मौका दिया. मैं कभी सोच नहीं सकता था कि मैं कभी सीएम बन सकता हूं लेकिन बीजेपी ने मुझे सेवा करने का मौका दिया. त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा कि पार्टी ने मुझे चार साल तक इस राज्य की सेवा करने का सुनहरा अवसर दिया. मैंने कभी नहीं सोचा था कि मुझे ऐसा मौका मिलेगा. पार्टी ने अब निर्णय लिया है कि सीएम के रूप में सेवा करने का अवसर अब किसी और को दिया जाना चाहिए. सीएम के रूप में मुझे चार वर्ष में 9 दिन कम रह गए हैं.
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बुधवार को नए मुख्यमंत्री के नाम का ऐलान बुधवार को होगा. इसको लेकर राज्य में सियासी उथल-पुथल मची हुई है. सूत्रों के अनुसार, सीएम रावत ने पहली बार विधायक बनने वाले धन सिंह रावत का नाम अगले मुख्यमंत्री के लिए प्रस्तावित किया है. यही वजह है कि धन सिंह रावत को आनन-फानन में देहरादून बुलाया गया है. इसके अलावा राज्य में एक डिप्टी सीएम भी होगा. इस पद के लिए पुष्कर सिंह धामी का नाम रेस में सबसे आगे है.
HIGHLIGHTS
- मैं लंबे समय से राजनीति कर रहा हूं- रावत
- चार वर्षों से पार्टी ने मुझे सीएम के रूप में सेवा का मौका दिया-रावत
- बुधवार को नए मुख्यमंत्री के नाम का ऐलान बुधवार को होगा.