उत्तराखंड के चमोली जिले में विश्व प्रसिद्ध फूलों की घाटी शनिवार को पर्यटकों के लिए खोल दी गई है. इस मौसम में फूलों की घाटी में 300 से अधिक प्रजाति के फूल खिलेंगे जो आने वाले कुछ महीनों तक आगंतुकों के देखने के लिए लिए खुले रहेंगे, जिसके लिए जिला प्रशासन की तैयारियां पूरी है. मालूम हो कि, उत्तराखंड के चमोली जिले में समुद्र तल से लगभग 12,500 फीट की ऊंचाई पर स्थित फूलों की घाटी कुछ स्थानिक फूलों की प्रजातियों का घर है. इसकी सुंदरता और विविधता के लिए यूनेस्को ने विश्व धरोहर घोषित किया है.
ये फूलों की घाटी लगभग 87 वर्ग किमी क्षेत्र में फैली हुई है. यहां पर्यटकों को विभिन्न प्रजातियों के फूलों और वनस्पतियों के साथ-साथ कई वन्य जीवन भी देखने को मिलते हैं. 17 जुलाई 2005 को यूनेस्को द्वारा घाटी को विश्व धरोहर स्थल का दर्जा दिया गया था. फूलों की घाटी को देखने के लिए हर साल देश-विदेश से बड़ी संख्या में पर्यटक आते हैं.
फूलों की घाटी की खासियत यह है कि हर 15 दिन में फूलों की एक नई प्रजाति प्रदर्शित होती है, जिसके कारण हर सप्ताहांत में घाटी का रंग भी बदल जाता है. फूलों की घाटी नंदा देवी राष्ट्रीय उद्यान का हिस्सा है. फूलों की घाटी में फूलों का खिलना अगस्त और सितंबर के महीनों के बीच अपने चरम पर होता है.
देहरादून के जॉली ग्रांट हवाई अड्डे पर उतरने वाले पर्यटक चमोली जिले में स्थित गोविंद घाट के लिए टैक्सी ले सकते हैं, जो देहरादून हवाई अड्डे से लगभग 300 किमी दूर है. गोविंद घाट से, आगंतुकों को लगभग 19 किमी की ट्रैकिंग के बाद फूलों की घाटी तक पहुंचने के लिए पैदल घांघरिया जाना होता है.
Source : News Nation Bureau