केंद्रीय मंत्री नित्यानंद राय ने यहां कहा कि पश्चिम बंगाल में बर्द्धमान रेलवे स्टेशन का नाम क्रांतिकारी स्वतंत्रता सेनानी बटुकेश्वर दत्त के नाम पर रखा जाएगा. उनका जन्म उसी जिले में हुआ लेकिन बाद में उन्होंने बिहार की राजधानी को अपना घर बना लिया था. गृह राज्यमंत्री और बिहार भाजपा के प्रमुख राय ने शनिवार को इस संबंध में यह बात कही. उन्होंने यहां दत्त के घर का दौरा किया जहां वह आजादी के बाद रहे.
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केंद्रीय मंत्री दत्त की पुण्यतिथि पर भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष शिवराज सिंह चौहान के साथ जक्कनपुर इलाके में स्थित दत्त के आवास पर गए. वहां उन्होंने उनकी बेटी भारती बागची से मुलाकात की. वह उनके परिवार में जीवित एकमात्र सदस्य हैं. नयी दिल्ली के एम्स के समीप स्थित एक पॉश कॉलोनी का नाम भी क्रांतिकारी के नाम पर है जहां उन्होंने 1965 में अंतिम सांस ली थी.
साल 1910 में बर्द्धमान जिले के एक गांव में जन्मे दत्त हिंदुस्तान सोशलिस्ट रिपब्लिकन एसोसिएशन से जुड़ गए जिसका नेतृत्व चंद्रशेखर आजाद ने किया था. वह दिल्ली में नेशनल असेंबली में भगत सिंह के साथ गए जहां ‘‘इन्क्लाब जिंदाबाद’’ के नारे लगाते हुए बम फेंकने के बाद वह पेश हुए. एक ब्रिटिश पुलिस अधिकारी की हत्या के आरोपी भगत सिंह को फांसी की सजा सुनाई गई जबकि दत्त को उम्रकैद की सजा सुनाई गई और उन्हें अंडमान-निकोबार द्वीप की जेल में भेज दिया गया.
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आजादी के बाद दत्त अपनी पत्नी अंजलि के साथ पटना में बस गए. उनकी पत्नी शहर के एक अग्रणी स्कूल में पढ़ाती थीं.
HIGHLIGHTS
- बर्द्धमान जिले में ही हुआ था बटुकेश्वर दत्त का जन्म
- बिहार की राजधानी पटना में बस गए थे बटुकेश्वर
Source : Bhasha