टीएमसी की लोकसभा सांसद शताब्दी रॉय का उनके निर्वाचन क्षेत्र में हिस्सा न लेने पर पश्चिम बंगाल में सियासत गरमा रही है. अभिनेत्री से नेता बनीं शताब्दी रॉय ने अपने फेसबुक पेज 'शताब्दी रॉय फैन क्लब' पर पार्टी द्वारा आयोजित कार्यक्रम में हिस्सा नहीं लेने की वजह बताई. शताब्दी रॉय ने कहा कि उन्हें पहले पार्टी ने इस कार्यक्रम के बारे में सूचित नहीं किया था जिसकी वजह से वो अपने निर्वाचन क्षेत्र में आयोजित किए गए कार्यक्रम में हिस्सा लेने नहीं पहुंच पाई थी.
In a social media post on her 'Satabdi Roy Fan Club' Facebook page, the actor turned politician said the reason behind her absence in party programmes in her constituency, Birbhum, is because she is not informed about the schedules in advance.#WestBengal https://t.co/w9b5LmaRnP
— ANI (@ANI) January 15, 2021
इसके पहले एक और ट्वीट में शताब्दी रॉय ने लिखा था कि वो टीएमसी में बहुत कुछ झेल रही हैं. उन्होंने आगे लिखा कि उनकी फेसबुक पर की गई पोस्ट भी वास्तविक है, जो कि उनके द्वारा ही की गई है. अगपर मैं कल दिल्ली जा रही हूं तो इसका मतलब ये तो नहीं है कि मैं भारतीय जनता पार्टी ज्वाइन करने जा रही हूं. मैं इस देश की एक सांसद हूं और मैं जब चाहूं तब दिल्ली जा सकती हूं. इसके लिए मुझे किसी से इजाजत लेने की जरूरत नहीं है.
टीएमसी के 41 विधायक और सांसद बीजेपी के संपर्क मेंः विजयवर्गीय
आपको बता दें कि इसके पहले मकर संक्रांति के अवसर पर भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव और पश्चिम बंगाल के प्रभारी कैलाश विजयवर्गीय ने तृणमूल कांग्रेस के 41 विधायकों समेत कई सांसदों के बीजेपी के प्रति झुकाव को लेकर बयान दिया था. उन्होंने कहा था कि सूबे की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी विधानसभा चुनाव आते-आते अकेली रह जाएंगी. अब लगता है कि ममता बनर्जी को अगला बड़ा झटका टीएमसी सांसद और अभिनेत्री शताब्दी रॉय को लेकर लगने वाला है. बीरभूम से सांसद शताब्दी रॉय ने अपनी फेसबुक पोस्ट के जरिये संदेश दिया है कि वह अपने राजनीतिक कैरियर को लेकर 16 जनवरी दोपहर 2 बजे तक बड़ा फैसला ले सकती हैं.
पार्टी नेताओं पर नीचा दिखाने का आरोप
बीरभूम की टीएमसी सांसद शताब्दी रॉय ने एक फेसबुक पोस्ट के जरिए संकेत दिया है कि पार्टी में कुछ लोग उन्हें नीचा दिखाने में लगे हैं. उन्होंने कहा, 'लोग मुझसे पूछते हैं कि मैं बीरभूम में होने वाले पार्टी के कार्यक्रमों में क्यों नहीं दिखाई देती. मैं कैसे शामिल होऊं जब मुझे उनका शेड्यूल ही पता नहीं रहता? मुझे लगता है कि कुछ लोग नहीं चाहते कि मैं वहां रहूं.' इसके साथ ही शताब्दी रॉय ने संकेत दिए हैं कि16 जनवरी दोपहर 2 बजे तक वह कोई धमाका कर सकती हैं. अगर ऐसा होता है तो ममता बनर्जी के लिए यह एक और बड़ा झटका होगा. इसकी एक वजह तो यही है कि शताब्दी रॉय ममता की बेहद करीबी नेताओं में शुमार होती हैं.
Source : News Nation Bureau