हर देश ने दूसरे लोगों को नागरिकता देने के कुछ नियम बनाएं हैं. लोगों को नागरिकता लेने के लिए वह पात्रताएं पूरी करनी होती हैं. अगर किसी को उस देश की नागरिकता लेनी है, तो उसे उस देश के नियमों और पात्रताओं पर खरा उतरना होगा. भारत में भी नागरिकता के लिए कुछ नियम कानून बनाए गए हैं.
भारतीय नागरिकता के लिए आवेदन करने के लिए लोगों को कुछ पात्रताओं को पूरा करना होता है. आज जानेंगे कि भारत की नागरिकता के लिए क्या पात्रताएं हैं. आप इसके लिए कहां और कैसे अप्लाई करना है, इसकी क्या प्रक्रिया है…आइये जानते हैं सब कुछ…
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इन लोगों को भारत में मिलती है नागरिकता
भारत में नागरिकता को लेकर कानून और पात्रताएं हैं. भारत में नागरिकता लेने के पांच तरीके हैं. जैसे- जन्म से नागरिकता, वंश से नागरिकता, प्राकृतिककरण से नागरिकता, पंजीकरण से नागरिकता और क्षेत्र के आधार पर नागरिकता मिलती है. 26 जनवरी 1950 के बाद से भारत में पैदा हुए सभी लोग भारत के नागरिक हैं. इसके अलावा, एक जुलाई 1987 के बाद जन्में ऐसे लोग, जिनके मां-बाप उस वक्त भारत में रह रहे हों, वह भारतीय नागरिक हैं. साथ ही तीन दिसंबर 2004 के बाद भारत में जन्में लोग तभी भारतीय होंगे, जिनके माता-पिता दोनों भारतीय हों या फिर दोनों में से कोई एक भारतीय और दूसरा इललीगल माइग्रेंट न हो.
दूसरे देश के लोग ऐसे ले सकते हैं नागरिकता
दूसरे देश के लोग अगर भारत में लगातार 11 साल से रह रहे हैं तो वह नागरिकता के लिए आवदेन कर सकते हैं. वहीं, भारत के पड़ोसी देश पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान से आए किसी अल्पसंख्यक समुदाय (हिंदू, सिख, जैन, ईसाई, बौद्ध या पारसी) को भारत की नागरिकता लेनी है तो उसे सीएए के तहत महज पांच साल में भारत की नागरिकता मिल जाएगी. सीएए के तहत Indiancitizenshiponline.nic.in आप इस वेबसाइट पर जाकर अप्लाई कर सकते हैं.
इसके अलावा, अगर कोई पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान का मुस्लिम है तो वह सीएए के तहत आवेदन नहीं कर सकता. इन लोगों को गृह मंत्रालय की वेबसाइट (https://www.mha.gov.in/en) पर जाकर एप्लाई करना होगा.