Flower farming: किसानों की आय दोगुना करने के लिए सरकार नई-नई तकनीक व शोध करती रहती है. हाल ही में कृषि संस्थान में शोध किया गया, जिसमें रजनीगंधा की लगभग 15 प्रजातियों पर शोध किया गया है. सभी प्रजाति वेस्ट यूपी की जमीन के हिसाब से अनुकूल पाई गई. अब किसानों के साथ गांव-गांव जाकर बैठक की जा रही है. साथ ही किसानों को रजनीगंधी की खेती करने से वे कितना मुनाफा कमा सकेंगे. यही नहीं वह अपनी फूलों को किस मार्केट में बेच सकेंगे. सारी जानकारी दी जा रही है.
इन प्रजातियों पर हुआ शोध
आपको बता दें कि रजनीगंधी की प्रजाति सुहासनी, प्रज्ज्वला, पर्ल डबल, श्रीनगर, अंर्काखुंगी बंगलूरू, जीकेटीसी-4, हैदराबाद सिंगल, सिक्किम सलेक्शन, हैदराबाद डबल, मैकिजन सिंगल, स्वर्ण रेखा, वैभव, फूले रजनी, निरंतरा, मैककिजन व्हीट डबल पर शोध किया गया. ये सभी प्रजाति वेस्ट यूपी की जमीन के अनुकूल पाई गई. एक्सपर्ट के मुताबिक वेस्ट यूपी की जमीन में रजनीगंधा दोगुनी तक प्रोडेक्टिविटी दे सकता है. लेकिन रजनीगंधी की खेती में पेस्टीसाइड का भी यूज करना होता है. क्योंकि सबसे ज्यादा कीट इसी फूल पर आते हैं...
ये भी लगाया जा रहा पता
फिलहाल शोध के माध्यम से ये पता लगया जा रहा है कि कौन सी प्रजाति में रोग प्रतिरोधक क्षमता अधिक है. सुंदरता और खुशबू के लिए कितनी उपयोगी है. वहीं जानकारी के मुताबिक वैज्ञानिक बताते हैं कि वेस्ट यूपी के हिसाब से उपरोक्त 10 प्रजातियों को सलेक्ट किया गया है. आपको बता दें कि एक हेक्टेयर में दो से चार लाख पुष्प डंडिया प्रतिवर्ष मिलती हैं. जिन्हें आप लोकल व राजधानी दिल्ली की मंडी में लाकर अच्छे दामों में सेल कर सकते हैं..
इन जिलों के किसान करेंगी रजनीगंधा की खेती
वहीं कृषि मेले में वेस्ट यूपी के कई जिलों के किसानों को बुलाया गया था. जिसमें मेरठ समेत सहारनपुर, बिजनौर, शामली, बागपत, मुजफ्फरनगर, गाजियाबाद, मुरादाबाद आदि जनपदों के किसानों ने फूलों की खेती में रूची दिखाई है. साथ ही लगातार शोध संस्थान के संपर्क में भी हैं.. जानकारी के मुताबिक हाल ही में गांव-गांव जाकर रजनीगंधा की खेती के लिए जागरूक करने का काम भी किया जायेगा. साथ ही बताया जाएगा कि गन्ने व गेंहूं की खेती के अलावा भी वे अधिक पैसा कमा सकते है .
HIGHLIGHTS
- वेस्ट यूपी की भूमि रजनीगंधा की खेती के लिए अनुकूल
- मेरठ समेत सहारनपुर, बिजनौर, शामली, बागपत, मुजफ्फरनगर के किसान करेंगे खेती
- ये प्रजाति किसानों को देंगी मार्केट में अच्छा दाम, कृषि मंत्रालय की ओर से दिया जाएगा प्रशिक्षण