UPI Payment Rule Change: 1 जनवरी 2024 शुरू हो गया है. ऐसे में आपको ये जानना जरूरी है कि आज से वे लोग यूपीआई से पैमेंट नहीं कर पाएंगे. जिन्होने पिछले एक साल से गूगल पे व फोन पे को यूज नहीं किया है. क्योंकि NPCI ने थर्ड पार्टी एप्स को रद्द करने के पहले ही निर्देश दिये हैं. आज से निर्देशों को लागू किया गया है. आंकड़ों के मुताबिक लगभग 20 प्रतिशत ऐसे एप्स हैं. जिन पर पिछले एक साल से कोई पैमेंट नहीं किया गया है. एनपीसीआई ने यूपीआई यूज में पारदर्शिता लाने के लिए ऐसा कदम उठाया है. क्योंकि आजकल कुछ ठगों ने यूपीआई यूजर्स को नुकसान पहुंचाने के लिए नए नए तरीके निकाल लिये हैं.
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गलत ट्रांजेक्शन पर लगेगी रोक
आपको बता दें कि एनपीसीआई ने यह कदम इसलिए उठाया है ताकि यूपीआई पेमेंट और सुरक्षित हो जाए. क्योंकि आजकल यूपीआई में भी फर्जीवाड़े की खबरे मिलने लगी हैं. NPCI के उम्मीद जताई है कि इस कदम से यूपीआई ट्रांजेक्शन और सुरक्षित होगा. 1 जनवरी 2024 से ऐसे सभी एप्स निष्क्रिय हो जाएंगे जिन्होने पिछले एक साल से एक भी पैमेंट नहीं किया है. यही नहीं बैंक निष्क्रिय ग्राहकों की यूपीआई आईडी और उससे जुड़े मोबाइल नंबर को वैरिफाई भी करेंगे. ताकि गलत ट्रांजेक्शन पर पूरी तरह रोक लग सके..
क्या है यूपीआई?
यूपीआई का फुल फॉर्म Unified Payment Interface (UPI) है. देश में अब ज्यादातर पैमेंट इसी मोड़ से किये जाते हैं. इसमें गूगल पे, फोन पे, भीम आदि एप्स के माध्यम से पैमेंट किया जाता है. आपको बता दें कि यूपीआई को बनाने व चलाने वाली NPCI है. आपको बता दें कि एनसीपीआई को गलत ट्रांजेक्शन की कई शिकायतें मिली थी. जिसके बाद एक बैठक की गई. साथ ही 31 दिसंबर को सभी थर्ड पार्टी एप्स पर यूपीआई निष्क्रिय करने की बात कही गई थी. यूपीआई सिर्फ उन्ही एप्स पर नहीं चलेगा. जिन पर पिछले 1 साल से एक भी ट्रांजेक्शन नहीं किया गया है. आज से इसे लागू कर दिया गया है. यानि आज से आप एक साल से बंद पड़े एप्स के माध्यम से कोई पैमेंट नहीं कर पाएंगे.
HIGHLIGHTS
- थर्ड पार्टी ऐप्स को NPCI ने बंद करने का दिया निर्देश
- NPCI ने बैन करने वाले मोबाइल नंबर्स का बनाया डाटा बैंक
- एक साल से बंद पड़े यूपीआई एप हो जाएंगे रद्द
Source : News Nation Bureau