Indian Railways: पहले दिवाली व छठ पर घर पहुंचने का संकट और अब घर से वापस लौटने की परेशानी. क्योंकि ज्यादातर ट्रेनों में सीटें फुल चल रही है. ऐसे में जिन लोगों की छुट्टियां खत्म हो गई हैं. उन्हे वापस ऑफिस ज्वाइन करना है तो क्या करें. यहां हम आपको रेलवे की एक सुविधा के बारे में बता रहे हैं. जिसके माध्यम से आपको 90 प्रतिशत तक कंफर्म सीट मुहैया हो जाएगी. हालांकि स्कीम पुरानी है. लेकिन जानकारी के अभाव में आज भी 80 प्रतिशत से ज्यादा यात्री विकल्प स्कीम का लाभ नहीं उठा पाते. आइये जानते हैं क्या है विकल्प स्कीम. जिसके माध्यम से सीट कंफर्म होने के बढ़ जाते हैं चांस..
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2015 में हुई थी विकल्प योजना की शुरूआत
आपको बता दें कि भारतीय रेलवे ने पैसेंजर्स को कंफर्म टिकट मुहैया कराने के मकसद से 2015 में विकल्प स्कीम को शुरू किया था. अल्टरनेट ट्रेन एकोमोडेशन स्कीम (ATAS) को रेलवे ने VIKALP का नाम दिया था. विकल्प को शुरू करने के पीछे रेलवे का उद्देश्य ज्यादा से ज्यादा लोगों को टिकट मुहैया कराना है. इसके तहत यात्री ऑनलाइन वेटिंग टिकट बुक करने के दौरान कंफर्म टिकट पाने के लिए दूसरे ट्रेन का विकल्प भी चुन सकते हैं. यदि आपको भी रिजर्वेशन नहीं मिल रहा है तो आप विकल्प चुन सकते हैं...
विकल्प चुनने का तरीका
जब आप ऑनलाइन ट्रेन टिकट बुक करते हैं, तो आपको VIKALP ऑप्शन अपने आप सुझाया जाएगा. विकल्प योजना के अंतर्गत यदि आपका संबंधित ट्रेन में टिकट कंफर्म नहीं हुआ है तो आप उस रूट की अन्य ट्रेन में सीट ले सकते हैं. विकल्प चुनने के लिए आपको ऑनलाइन टिकट बुक करना होता है. साथ ही विकल्प योजना के ऑप्शन पर क्लिक करना होता है. यदि किसी भी वैकल्पिक रेलगाड़ी में कोई सीट या बर्थ उपलब्ध होती है तो उनके द्वारा चुनी गई किसी भी रेलगाड़ी में स्वतः ही सीट/बर्थ आवंटित हो जाएगी,, आपको बता दें कि बिहार दिल्ली रूट पर चलने वाली लगभग 7 ट्रेनों में विकल्प की सुविधा दी गई है.
HIGHLIGHTS
- आजकल ट्रेनों में बढ़ रही भारी भीड़, छठ पूजा से लौटने के लिए नहीं मिल रही सीट
- 2015 में शुरू की थी विकल्प योजना, जानकारी के अभाव में लाभ नहीं उठा पाते यात्री
- स्कीम अपनाकर इतनी भीड़ में भी पा सकते हैं कंफर्म सीट
Source : News Nation Bureau