भारत की लाइफ लाइन कहे जाने वाली भारतीय रेल पर भी अब पावर संकट गहरा गया है. जिसके चलते शुक्रवार को कुल 753 ट्रेनों को कैंसिल करना पड़ा. बताया जा रहा है कि एक साथ इतनी ट्रेनें कैंसिल होने से यात्रियों में अफरा-तफरी का माहौल है. बताया जा रहा है कि कोयला संकट इतना विकराल रूप ले चुका है कि ट्रेन परिचालन पर भी इसका गहरा असर पड़ रहा है. रेलवे ने बताया है कि साउथ-ईस्ट सेंट्रल रेलवे की 11 जोड़ी मिडियम एक्स्प्रेस ट्रेन और 6 जोड़ी पैसेंजर ट्रेनों को रद्द किया जा रहा है. इसके अलावा उत्तर रेलवे से 2 जोड़ी मिडियम एक्सप्रेस ट्रेन और 2 जोड़ी पैसेंजर ट्रेनों को रद्द किया जा रहा है. कुल मिलाकर 13 जोड़ी एक्सप्रेस ट्रेन और 8 जोड़ी पैसेंजर ट्रेनें रद्द की गई हैं.
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जानकारी के मुताबिक साउथ-ईस्ट सेंट्रल रेलवे की मिडियम एक्सप्रेस ट्रेनों के 343 और पैसेंजर ट्रेनों के 370 चक्कर कैंसिल होंगे वहीं उत्तर रेलवे के 20 मीडियम एक्सप्रेस और पैसेंजर के 20 चक्कर नहीं लगेंगे. कुल मिलाकर देश में कोयले की कमी के चलते 753 ट्रेनें रद्द रहेंगी. इतनी बड़ी संख्यां में ट्रेनों का रद्द रहने से देश के रेलवे विभाग को अरबों रुपए का लॅास एक झटके में हो जाएगा. बताया जा रहा है कि भीषण गर्मी के चलते देश के लगभग हर राज्य में बिजली की मांग बढ़ गई है. दूसरी तरफ कोयले की कमी के चलते बिजली संयंत्रों में बिजली उत्पादन प्रभावित हो रहा है. बिजली की कमी के चलते देश के कई राज्यों में लोगों को बिजली कटौती का सामना करना पड़ रहा है.
रेलवे ने अपने बयान में कहा है कि गैर प्राथमिक क्षेत्रों और कम भीड़-भाड़ वाले रूट की ट्रेनों को ही रोका गया है ताकि कोलये की आवाजाही में तेजी लाई जा सके. रेलवे ने ये भी बताया है कि कुल 533 ट्रेनों को कोयले ढोने में लगाया गया है. इनमें पॉवर सेक्टर के लिए कुल 1.62 मिलियन टन कोयला लादा गया है.
Source : News Nation Bureau