रतन नवल टाटा का बुधवार रात को मुंबई के एक अस्पताल में उम्र से संबंधित बीमारी के कारण निधन हो गया. उनकी उम्र 86 साल की थी. उम्र से संबंधित चिकित्सा समस्याओं की जांच के लिए उन्हें मुंबई के ब्रिज कैंडी हॉस्पिटल में एडमिट करवाया गया था. मेडिकल रिपोर्ट के मुताबिक उन्हें बीपी लो की समस्या थी बीपी लो के कारण हाइपरटेंशन की शिकायत अक्सर हो जाती है. रतन नवल टाटा का बुधवार रात को मुंबई भारत के एक अस्पताल में उम्र से संबंधित बीमारी के कारण निधन हो चुका है.
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मेडिकल रिपोर्ट के मुताबिक उन्हें बीपी लो की समस्या थी. विश्व स्वास्थ्य संगठन का अनुमान है कि भारत में हर चौथा इंसान हाई और लो बीबी की चपेट में है. पिछले साल जून में आईसीएमआर इंडिया की एक डायबिटीज स्टडी में पता चला कि देश में 3 करोड़ से ज्यादा लोग हाई ब्लड प्रेशर की चपेट में है. बहुत से लोगों को लगता है कि हाई बीपी सिर्फ हार्ट के लिए ही खतरनाक है, लेकिन इससे कई अंगों को खतरा है. आइए जानते हैं ब्लड प्रेशर या लो ब्लड प्रेशर से किन अंगों को सबसे ज्यादा खतरा है. ब्लड प्रेशर बढ़ने से दिमाग की कोशिकाओं को भी नुकसान पहुंचने का खतरा हो सकता है. ब्लड प्रेशर बहुत ज्यादा बढ़ने की वजह से दिमाग की कोशिकाएं फट भी सकती हैं, जिससे इंसान की मौत तक हो सकती है.
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डब्ल्यूएचओ ने भी किया अलर्ट
डायबिटीज के मरीजों को हाई ब्लड प्रेशर की दिक्कत होने से आंखों की नसों को नुकसान पहुंचने का खतरा भी बढ़ जाता है. डायबिटीज के मरीजों को पहले से कई सारी दिक्कतें होने की वजह से इम्यून सिस्टम या रिकवरी सिस्टम कमजोर होता जाता है. हाई ब्लड प्रेशर की वजह से डायबिटीज से परेशान मरीजों की आंखों की नसें भी फट जाती हैं या अक्सर ठीक से काम करना बंद कर देती हैं. ब्लड प्रेशर की वजह से किडनी की बीमारियां या फिर किडनी फेलियर भी हो सकता है. हेल्थ एक्सपर्ट्स के मुताबिक जिन लोगों में हाई ब्लड प्रेशर की समस्या होती है.
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जानलेवा हो सकती यह बीमारी
उनमें स्ट्रोक आने का खतरा भी ज्यादा होता है. यह स्ट्रोक कई मामलों में जानलेवा भी हो जाता है, क्योंकि इससे दिमाग तक ब्लड का फ्लो भी प्रभावित हो सकता है. अगर आपका ब्लड प्रेशर ना 60 से कम होता है तो डॉक्टर इसे लो बीपी मानते हैं. उम्र बढ़ने के साथ लो बीपी और हाई बीपी दोनों में जोखिम बढ़ जाता है. लो बीपी होने पर वृद्ध लोगों में हार्ट दिमाग और दूसरे अंगों में रक्त के प्रवाह कम होने लगते हैं. अचानक से बीपी लो होने पर दिमाग में खून और ऑक्सीजन की सप्लाई कम होने लगती है. ऐसे में चक्कर आना सिर चकराना और कभी-कभी बेहोशी जैसी समस्या हो सकती है, जिन लोगों को लो बीबी की समस्या रहती है. उन्हें बिना देरी के डॉक्टरों से सलाह लेनी चाहिए. इसके अलावा खानपान और लाइफ स्टाइल में भी कुछ जरूरी बदलाव करने चाहिए.