4 अगस्त को लेबनान (Lebanon) की राजधानी बेरूत (Beirut) में हुए धमाकों ने पूरे देश को तबाह कर दिया था. इन धमाकों में 170 से भी ज्यादा लोगों की मौत हुई और करीब 6000 लोग इसमें घायल हुए थे. बेरूत (Beirut Explosions) में हुए धमाके इतने शक्तिशाली थे कि उसने 2 किलोमीटर की रेंज में आने वाले सभी घर, मकान, दुकान, इमारत, वाहनों को तहस-नहस कर दिया. बेरूत में हुए धमाकों को 18 दिन हो चुके हैं, लेकिन विनाश के बड़ी-बड़ी निशानियां वहां अभी भी मौजूद हैं. धमाकों के बाद लेबनान सरकार की पूरी कैबिनेट ने इस्तीफा दे दिया था.
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बेरूत धमाकों से जुड़ा एक बच्चा सोशल मीडिया पर काफी चर्चाएं बटोर रहा है. जी हां, जॉर्ज नाम के इस बच्चे का जन्म उस वक्त ही हुआ था जब बेरूत में धमाके हुए थे. हैरानी की बात ये है कि बेरूत में जिस जगह धमाके हुए थे, उसके काफी नजदीक स्थित एक अस्पताल में महिला ने जॉर्ज को जन्म दिया था. धमाके के बाद जहां एक ओर तरफ चारों ओर लाशें बिखरी हुई थीं तो वहीं दूसरी ओर जॉर्ज का इस धरती पर आगमन हुआ था. सोशल मीडिया पर जॉर्ज को मिरेकल बेबी जॉर्ज के नाम से काफी पहचान मिल रही है. जिस तरह बेरूत के धमाकों में जॉर्ज का जन्म हुआ, उसे देखते हुए लोग उसे अंधेरे में रोशनी का प्रतीक मान रहे हैं.
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सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म इंस्टाग्राम पर भी मिरेकल बेबी जॉर्ज नाम से एक अकाउंट बना गया है. इस अकाउंट पर 4 अगस्त के मंजर की वीडियो भी पोस्ट की गई है. वीडियो में आप देखेंगे कि जॉर्ज की मां को लेबन पेन होने पर अस्पताल में भर्ती किया जा रहा था, तभी वहां हुए धमाके के बेहद ही ताकतवर कंपन्न की वजह से अस्पताल के सभी शीशे फूट गए और वहां रखा सारा सामान तहस-नहस हो गया. इतना ही नहीं धमाके के बाद अस्पताल की छतें और दीवारें भी टूटकर गिरने लगी थीं.
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जॉर्ज को जन्म देने वाली बहादुर मां इम्मानुएल लतीफ ने बताया कि जब उन्हें अस्पताल लाया गया था, उस वक्त वे लेबर पेन से कराह रही थीं. उन्होंने बताया कि जैसे ही उन्हें वॉर्ड की ओर ले जाया गया, उसी वक्त एक भयानक धमाका हुआ और अस्पताल में अफरा-तफरी मच गई. महिला ने बताया कि जॉर्ज की डिलीवरी के समय वे सिर्फ अस्पताल की छत देख रही थीं कि वह गिर न जाए. जॉर्ज की डिलीवरी के बाद उसे बिना नहलाए ही अस्पताल से बाहर लाया गया और किसी से लिफ्ट लेकर बेरूत के बाहर एक सुरक्षित अस्पताल में मां-बेटे को भर्ती कराया गया.
Source : News Nation Bureau