इंकलाब जिंदाबाद- भगत सिंह.
सारे जहां से अच्छा हिन्दोस्तां हमारा हम बुलबुलें हैं इस की ये गुलसितां हमारा : अल्लामा इकबाल
इंकलाब जिंदाबाद- भगत सिंह.
तुम मुझे खून दो, मैं तुम्हें आजादी दूंगा- नेताजी सुभाष चंद्र बोस.
स्वराज मेरा जन्मसिद्ध अधिकार है और मैं इसे लेकर रहूंगा-बाल गंगाधर तिलक.
वंदे मातरम् : बंकिमचंद्र चटर्जी.
आराम हराम है - जवाहर लाल नेहरू.
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