Bangladesh Crisis: बांग्लादेश में आरक्षण विरोधी छात्र आंदोलन ने तख्तापलट कर दिया. नतीजा प्रधानमंत्री शेख हसीना को अपने पद से इस्तीफा देना पड़ा और देश छोड़कर भागना पड़ा. हालात इसके बाद भी स्थिर नहीं हुआ. शेख हसीना के बाद बांग्लादेश की सेना ने देश की बागडोर अपने हाथ में ले लिया. हालांकि, एक सप्ताह के बाद मोहम्मद युनूस की नेतृत्व में अंतरिम सरकार का गठन हो गया. अब अंतरिम सरकार के मुखिया युनूस के हाथ में देश की कमान है. इस बीच बांग्लादेश सेना प्रमुख ने खुलासा किया कि उन्होंने अपदस्थ हसीना के नेतृत्व वाली सरकार के कुछ प्रभावशाली नेताओं को शरण दी है.
बांग्लादेश के सेना प्रमुख जनरल वकर-उज-जमान ने पाकिस्तान के आजादी के दिन बड़ा खुलासा किया. उन्होंने पिछली अवामी लीग सरकार के कुछ प्रभावशाली लोगों का जिक्र करते हुए कहा कि हसीना के कुछ नेताओं को उन्होंने शरण दी है. ताकि उन पर किसी तरह के हमला ना हो सके.
बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे हमलों की जांच कर रही सेना
बांग्लादेश में अल्पसंख्यकों और हिंदू समुदाय पर हो रहे हमलों का भी जिक्र किया. उन्होंने कहा कि अभी तक 20 जिलों में अल्पसंख्यकों से जुड़े कुल 30 हमले हुए हैं. सेना इन घटनाओं की जांच कर रही है. जांच पूरी होते ही दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी.
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बांग्लादेश पुलिस कन्फ्यूज है- सेना प्रमुख
बांग्लादेश के सेना प्रमुख वकर-उज-जमान ने कहा कि शेख हसीना के जिन प्रभावशाली लोगों को शरण दी है, उन्हें सुरक्षित स्थानों पर रखा गया है. क्योंकि देश में हसीना के खिलाफ गुस्सा है. लोग हसीना और उनसे जुड़े लोगों पर हमला करने के फिराक में हैं, ऐसे में हमने उन लोगों को सुरक्षित स्थानों पर भेज दिया है. जहां किसी तरह का कोई हमला नहीं होगा. हमने उनकी जान के खतरे के कारण उन्हें शरण दी है. उन्होंने कहा कि देश में हालात धीरे-धीरे सामान्य हो रहे हैं, मगर, पुलिस अभी भी सदमे में है. एक बार यह खत्म हो जाए, तो पुलिस फिर से अपने कामों का ठीक से पालन कर सकेगी.
वहीं, बांग्लादेश के पूर्व कानून मंत्री अनुसुल हक और पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना के निजी उद्योग और निवेश मामलों के सलाहकार सलमान एफ. रहमान फरार होने के फिराक में थेसे लेकिन उन्हें ढाका से गिरफ्तार कर लिया गया है. जबकि, पूर्व विदेश मंत्री हसन महमूद और पूर्व राज्य मंत्री जुनैद अहमद को पिछले हफ्ते ढाका हवाई अड्डे से गिरफ्तार किया गया था.
शेख हसीना की पार्टी के सांसदों ने छोड़ा देश
बांग्लादेश में जारी छात्र आंदोलन के बाद प्रधानमंत्री शेख हसीना ने 5 अगस्त को पद से इस्तीफा दे दिया था. इसके बाद उन्होंने देश छोड़कर भारत पहुंच गई थी. जिसके बाद से आवामी लीग पार्टी के कई बड़े नेता, सांसद और कैबिनेट मंत्री देश छोड़कर जा चुके हैं. जबकि, कई अन्य मंत्रियों ने अपने सरकारी या निजी आवास छोड़ दिए हैं. ये सभी सुरक्षित स्थानों पर छिपे हुए हैं.
शेख हसीना के दफ्तर में घुसे थे प्रदर्शनकारी
बता दें कि जिस दिन शेख हसीना ने देश छोड़ा था उस दिन उनके दफ्तर में प्रदर्शनकारी घुस गए थे. बड़ी संख्या में प्रदर्शनकारियों ने पीएम आवास में उत्पात मचाया था. यहां तक कि उनके कपड़े, सोफा समेत कई सामान भी अपने घर ले गए थे. इसके अलावा कई मंत्रियों के घरों को आग के हवाला कर दिया गया था. हालात को देखते हुए बांग्लादेश के कई मंत्री और नेता सरकारी आवास छोड़कर निजी ठिकानों पर छिप गए थे.