बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना जल्द ही भारत के दौरे पर आने वाली हैं. इससे पहने न्यूज एजेंसी एएनआई ने शेख हसीना का एक्सक्लूसिव इंटरव्यू लिया और उनसे विभिन्न मसलों पर बातचीत की. इस दौरान शेख हसीना ने बांग्लादेश को मिले भारत के सहयोग की खुलकर तारीफ की. बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने कहा कि भारत और बांग्लादेश करीबी पड़ोसी हैं। मैं हमेशा अपने पड़ोसी देशों के साथ दोस्ती को महत्व देती हूं क्योंकि मुझे लगता है कि यह दोस्ती हमारे लोगों के लिए है। ये देखना हमारी प्राथमिकता है कि दोनों देशों के बीच व्यापार को कैसे बेहतर बनाया जाए. भारत हमारा विश्वसनीय साथी है। हम 1971 के युद्ध के दौरान भारत के योगदान को हमेशा याद करते हैं। 1975 में जब मैंने अपने परिवार के सभी सदस्यों को खो दिया था, तब तत्कालीन भारतीय प्रधानमंत्री ने हमें भारत में आश्रय दिया था.
हमारे और भारत के बीच गहरे संबंध
अपने भारत दौरे पर बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने कहा कि भारत हमारा पड़ोसी है। हमारे बीच बहुत अच्छे संबंध हैं। कुछ समस्याएं हैं लेकिन हमने ज्यादातर का समाधान किया है... मुझे लगता है कि हमें लड़ना नहीं चाहिए। यदि पड़ोसी देशों के बीच कोई समस्या है तो उसे द्विपक्षीय रूप से हल किया जा सकता है. हमारी विदेश नीति बहुत स्पष्ट है- सभी से मित्रता, किसी से भी द्वेष नहीं रखना.... अगर चीन और भारत के बीच कोई समस्या है तो मैं उसमें नहीं पड़ना चाहती। मैं अपने देश का विकास चाहती हूं. शेख हसीना ने कहा कि मैं भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को वैक्सीन मैत्री पहल के लिए धन्यवाद करती हूं। भारत ने सिर्फ बांग्लादेश ही नहीं दूसरे दक्षिण एशियाई देशों को भी वैक्सीन उपलब्ध कराई.
मैं प्रधानमंत्री मोदी का धन्यवाद करती हूं
शेख हसीना ने आगे कहा कि रूस-यूक्रेन युद्ध के दौरान हमारे बहुत से छात्र यूक्रेन में फंसे हुए थे। भारत ने जब अपने छात्रों को वहां से निकाला तब हमारे छात्रों को भी वहां से निकाला, इसके लिए मैं प्रधानमंत्री मोदी का धन्यवाद करती हूं. हमारी अर्थव्यवस्था अभी भी बहुत मज़बूत है। हमने कोरोना महामारी का सामना किया, यूक्रेन-रूस युद्ध का भी प्रभाव पड़ा लेकिन बांग्लादेश समय पर ऋण चुकाता रहा है। मुझे नहीं लगता कि हमें कभी श्रीलंका जैसी स्थिति का सामना करना पड़ेगा. बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने आगे कहा कि बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने उन यादों को याद किया जब उनके परिवार की हत्या कर दी गई थी। मुझे लगता है कि इसे हल किया जाना चाहिए। PM(नरेंद्र मोदी) इस समस्या को हल करने के लिए बहुत उत्सुक हैं लेकिन आपके देश में समस्या है। हम केवल गंगा का जल साझा करते हैं लेकिन 54 अन्य नदियां भी हैं। यह लंबे समय से चली आ रही समस्या है इसका समाधान किया जाना चाहिए.
भारत को और उदारता दिखानी चाहिए
भारत-बांग्लादेश जल-बंटवारे को लेकर विवाद पर बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने कहा कि हम नीचे की ओर स्थित हैं, पानी भारत से आ रहा है। इसलिए भारत को और उदारता दिखानी चाहिए। इससे दोनों देश लाभान्वित होंगे। कभी-कभी हमारे लोगों को बहुत नुकसान होता है, खासकर तीस्ता नदी के चलते. बांग्लादेश में अल्पसंख्यक समुदाय की सुरक्षा पर PM शेख हसीना ने कहा कि हमारे यहां सांप्रदायिक सौहार्द है। कभी-कभी, कुछ घटनाएं होती हैं, जिसे लेकर हम तुरंत कार्रवाई करते हैं। मेरी पार्टी के लोग इसे लेकर बहुत सचेत है. रोहिंग्या पर बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना ने कहा कि कोविड के दौरान उन्हें वैक्सीन भी उपलब्ध कराई गई। लेकिन वे यहां कब तक रहेंगे? कुछ लोग ड्रग्स की तस्करी, महिला तस्करी में लिप्त हैं। वे जितनी जल्दी अपने घर वापस जाएं वो हमारे देश के लिए और म्यामांर के लिए अच्छा है.
मवेशी तस्करी की घटनाओं में कमी आई
हमारे लिए यह एक बड़ा बोझ है, हम अंतरराष्ट्रीय समुदायों और अपने पड़ोसी देशों के साथ परामर्श कर रहे हैं। जिससे वे (रोहिंग्या) घर वापस जा सकें। हम उन्हें (रोहिंग्या) आश्रय दे रहे हैं, सभी चीज उपलब्ध करा रहे हैं. उसे तय करना है। वह देश के लिए काम कर रहा है। डिजिटल बांग्लादेश उसका विचार है और वह इसमें मेरी सहायता कर रहा है लेकिन उसने कभी राजनीतिक दल या किसी मंत्रालय में कोई पद लेने के बारे में नहीं सोचा. बांग्लादेश की PM से पूछे जाने पर कि क्या वह चाहती हैं कि उनका बेटा राजनीति में आए. भारत-बांग्लादेश सीमा के माध्यम से मवेशियों की तस्करी पर बांग्लादेश PM शेख हसीना ने कहा कि इस पर चर्चा जारी है। मवेशी तस्करी की घटनाओं में कमी आई है,कभी-कभी कुछ घटनाएं होती हैं। दोनों देशों के सुरक्षा बलों के बीच इसे लेकर बैठकें भी होती हैं, हमें उनका आश्वासन मिला है कि ऐसी घटनाएं कम होंगी.
- ये कॉपी न्यूज एजेंसी एएनआई से ली गई है.
#WATCH | Bangladesh PM Sheikh Hasina recounts memories of when her family was assassinated and her life in Delhi under a changed name during the late 1970s pic.twitter.com/5xag64ndQa
— ANI (@ANI) September 4, 2022
Source : Agency