भारत के खिलाफ तरह-तरह की साजिश रचने वाले चीन और पाकिस्तान को भारत-रूस डील से करारा झटका लगा है. इसके पीछे की सबसे बड़ी वजह यह है कि भारत रूस के साथ सबसे उन्नत स-500 'प्रोमेटी' विमान भेदी मिसाइल प्रणाली खरीदने जा रहा है. रूस के उप प्रधानमंत्री यूरी बोरिसोव ने इसके संकेत दिए हैं. रूस के प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत S-500 मिसाइल सिस्टम खरीदने वाला पहला विदेशी खरीदार हो सकता है. एक टीवी चैनल से बात कर रहे बोरिसोव ने कहा कि इसमें कोई दो राय नहीं कि एक बार जब यह सिस्टम सैनिकों तक पहुंच जाएगी तो भारत लिस्ट में पहले नंबर होगा. हां लेकिन यह काफी हद तक भारत की इच्छा पर निर्भर करता है.
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S-500 'प्रोमेटी' एक ऐसा मिसाइल सिस्टम है, जिसकों सबसे उन्नत रूसी मोबाइल सर्विस में रखा गया है. हालांकि मुर्की ने साल 2019 में S-500 एंटी एयरक्राफ्ट मिसाइल सिस्टम को खरीदने की इच्छा जताई थी. आपको बता दें कि इस उन्नत मिसाइल सिस्टम को लेकर रूस के प्रधानमंत्री की टिप्पणी ऐसे समय आई है, जब भारत में लंबी दूरी तक मार करने वाली S-400 मिसाइल सिस्टम की डिलीवरी शुरू कर चुका है. हालांकि अमेरिका ने भारत की रूस के साथ इस डील का विरोध किया था. माना जा रहा था कि अमेरिका इसको लेकर भारत के खिलाफ कोई कदम उठा सकता है. लेकिन अमेरिका को भली भांति मालूम है कि एशिया में अगर कोई देश को चीन को कंट्रोल कर सकता है तो केवल भारत है. यही वजह है कि अमेरिका ने भारत पर कोई प्रतिबंध नहीं लगाया है, जिसको भारतीय कूटनीति की बड़ी जीत के तौर पर देखा जा रहा है.
Source : News Nation Bureau