बिजली संकट से जूझ रहे पाकिस्तान की मदद के लिए एक बार फिर उसका दोस्त चीन आगे आया है।
चीन ने पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर (पीओके) में चल रहे अपने पनबिजली योजना के कामों में और अधिक तेजी लाने की योजना बनाई है। ताकि पाकिस्तान के बिजली संकट को दूर किया जा सके।
ग्लोबल टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक, करीब दो अरब डॉलर की लागत की कारोत पनबिजली परियोजना झेलम नदी पर चीन बना रहा है। भारत इसे अपनी क्षेत्रीय संप्रभुता का उल्लंघन बताता रहा है।
शंघाई एकेडमी ऑफ सोशल साइंस के रिसर्च फेलो हू जियांग ने कहा, 'भारत लगातार इस प्रॉजेक्ट पर विरोध जताता रहा है क्योंकि यह पीओके में है, लेकिन हम चीन तथा पाकिस्तान के बीच जारी सहयोग को नहीं रोकेंगे। दोनों देशों के बीच रिश्ते अच्छे हैं और इसमें भारत को निशाना नहीं बनाया जाएगा।'
उन्होंने कहा, 'चीन के सहयोग से पाकिस्तान की बिजली की कमी 2025 तक दूर होने की संभावना है।' भारत चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारे (सीपीईसी) पर भी आपत्ति जताता रहा है।
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चीन 30 साल के लिए बिल्ड-ओन- ऑपरेट- ट्रांसफर (बीओटी) आधार पर पनबिजली परियोजना बना रहा है। इसके बाद मालिकाना हक पाकिस्तान सरकार को मिल जाएगा।
कारोत पनबिजली परियोजना के अलावा चीन हाइड्रो, विंड और सोलर पावर पर आधारित कई और परियोजनाएं भी पाकिस्तान में शुरू करेगा।
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HIGHLIGHTS
- चीन ने पनबिजली योजना के कामों में और अधिक तेजी लाने की योजना बनाई
- करीब दो अरब डॉलर की लागत की कारोत पनबिजली परियोजना झेलम नदी पर चीन बना रहा है
Source : News Nation Bureau