अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) द्वारा विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) को वित्तीय पोषण (Funding) रोकने का निर्णय 'प्रतिशोधी और गैर जिम्मेदाराना' है. यह बात रूसी (Russia) विदेश मंत्रालय ने कही है. मंत्रालय की प्रवक्ता मारिया जखारोवा ने शुक्रवार को एक समाचार ब्रीफिंग में कहा, 'हमें लगता है कि डब्ल्यूएचओ के बजट में योगदान रोकना और अमेरिका में कोरोना संक्रमण (Corona Virus) जो कुछ हो रहा है उसके लिए विश्व स्वास्थ्य संगठन पर आरोप लगाना, वॉशिंगटन का प्रतिशोधात्मक और गैर-जिम्मेदाराना निर्णय है.' उन्होंने कहा कि डब्ल्यूएचओ पर निष्क्रियता, अस्पष्टता और दुर्भावना बरतने के जो आरोप लगे हैं वे पूरी तरह से आधारहीन हैं.
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डब्ल्यूएचओ ने सही कदम उठाए
जखरोवा ने उल्लेख किया कि कोविड-19 महामारी के विकास के सभी चरणों में डब्ल्यूएचओ ने बताया और वैज्ञानिक डाटा के आधार पर कार्य किया. इस सप्ताह की शुरूआत में, ट्रंप ने घोषणा की थी कि उन्होंने अपने प्रशासन को डब्ल्यूएचओ को वित्त पोषण निलंबित करने का निर्देश दिया है. जिस पर उन्होंने 'कोरोना वायरस को गलत तरीके से मैनेज करने और इसके प्रसार को छुपाने' का आरोप लगाया है. इसके पहले डब्ल्यूएचओ अध्यक्ष अधनोम घेब्रेसियस ने कहा था कि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का यह कदम राजनीति को ही और बढ़ावा देगा.
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चीन ने भी कहा था ट्रंप छिपा रहे नाकामी
इसके पहले चीन ने इसे अमेरिका की नाकामी छुपाने की कोशिश करार देते हुए अनैतिक फैसला करार दिया था. चीन का आरोप है कि अमेरिका कोरोना को गंभीरता से न लेने और अपने देश में घरेलू हालात न संभाल पाने की अपनी नाकामी से ध्यान भटकाने के लिए विश्व स्वास्थ्य संगठन पर आरोप मढ़ रहा है और उसकी फंडिंग रोक रहा है. चाइनीज सेंटर फॉर डीजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन के प्रमुख अधिकारी जेंग जुआंग ने कहा कि क्या डब्लूएचओ की फंडिंग रोककर अमेरिका अपने देश में इस वायरस से जीत पाएगा. इसे एक खराब संकेत बताते हुए जेंग ने ग्लोबल टाइम्स से कहा कि इस समय जब दुनिया कोविड-19 से लड़ रही है और इससे बचने की हर संभव कोशिश कर रही है, ऐसे में डब्लूएचओ की भूमिका सबसे ज्यादा अहम हो जाती है.
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ट्रंप ने जवाबदेही तय करने की बात कही
गौरतलब है कि मंगलवार को ट्रंप ने बयान जारी कर कहा कि डब्ल्यूएचओ ने कोरोना महामारी को लेकर पारदर्शिता नहीं रखी और संयुक्त राष्ट्र की इस संस्था को सबसे ज्यादा फंड देने वाला अमेरिका अब इस पर विचार करेगा कि संगठन को दिए जाने वाले पैसे का क्या किया जाए. ट्रंप का कहना है कि कोरोना के प्रकोप में अपना कर्तव्य निभाने से डब्ल्यूएचओ पूरी तरह नाकाम हुआ है. उन्होंने आरोप लगाया कि चीन में जब यह वायरस फैला तो संयुक्त राष्ट्र की संस्था ने उसे छुपाने की कोशिश की और इसके लिए उसे जवाबदेह ठहराया जाना चाहिए.
HIGHLIGHTS
- डब्ल्यूएचओ की फंडिंग रोकने पर अब अमेरिका और रूस में आरोप-प्रत्यारोप.
- प्रवक्ता ने ट्रंप के कदम को गैर-जिम्मेदाराना और प्रतिशोधात्मक बताया.
- इसके पहले चीन भी कह चुका है कि ट्रंप ने अपनी नाकामी छिपाई.