अमेरिकी नौसेना के एक न्यूक्लियर इंजीनियर और उसकी पत्नी को फेडरल ब्यूरो ऑफ इन्वेसिटिगेशन ने अमेरिकी परमाणु पनडुब्बी से जुड़े गोपनीय दस्तावेज बेचते हुए रंगे हाथ पकड़ा है. एफबीआई ने दंपति के गोपनीय दस्तावेजों की जानकारी बेंचने की खुफिया जानकारी मिलने पर बकायदा जाल बिछाकर गिरफ्तार किया. एफबीआई के बिछाए गए जाल के तहत खुफिया संस्था का ही एक अधिकारी दूसरे देश का ग्राहक बनकर उन तक पहुंचा और जैसे ही उसके हाथ दस्तावेज आए, दंपति को गिरफ्तार कर लिया गया. एफबीआई सूत्रों के मुताबिक न्यूक्लियर इंजीनियर और उसकी पत्नी ने पी-नट बटर सैंडविच के भीतर पैन ड्राइव रख कर बेचने चाहे थे. गिरफ्तार इंजीनियर की पहचान जोनाथन टोएबे और उसकी पत्नी डायना के रूप में हुई है.
जिसे दस्तावेज बेच रहे थे, वहीं निकला एफबीआई अधिकारी
इस ऑपरेशन में शामिल एफबीआई के अधिकारियों के मुताबिक अमेरिकी नौसेना में काम करने वाले न्यूक्लियर इंजीनियर और उसकी पत्नी को वेस्ट वर्जीनिया से नौसेना आपराधिक जांच सेवा द्वारा गिरफ्तार किया है. हैरानी की बात ये है कि इस दंपति ने अपने हिसाब से किसी विदेशी एजेंट को परमाणु सीक्रेट बेच दिए, लेकिन बाद में पता चला कि वह एक सीक्रेट स्टिंग ऑपरेशन था और वो सीक्रेट जानकारी एक एफबीआई अधिकारी को ही बेची गई थी. एफबीआई के अधिकारी ने आरोपी को यकीन दिला दिया था कि वो एक विदेशी एजेंट है.
साल भर पहले हुआ था शक
अमेरिकी न्यायाकि विभाग ने कहा है कि न्यूक्लियर इंजीनियर टोएबे के पास परमाणु पनडुब्बियों से संबंधित अति गोपनीय सैन्य डिजाइन, सीक्रेट डाटा, परमाणु संचालित युद्धपोतों के लिए रिएक्टर से संबंधित संवेदनशील जानकारियां मौजूद थी. बताते हैं कि एक साल पहले टोएबे पर एक एफबीआई एजेंट का शक हुआ था. इसमें न्यूक्लियर इंजीनियर टोएबे ने एक विदेशी सरकार को परमाणु रहस्यों को बेचने की पेशकश की थी, जिसके बाद एक अंडरकवर एफबीआई एजेंट ने कई महीनों बाद एक गोपनीय ईमेल प्रोग्राम के जरिये जवाब देकर उसके साथ संपर्क साधना शुरू कर दिया.
70 हजार डॉलर में किया था सौदा
एफबीआई की शिकायत के मुताबिक परमाणु पनडुब्बी इंजीनियर और उसकी पत्नी 70 हजार डॉलर में कुछ सीक्रेट जानकारियों को बेचने के लिए तैयार हो गया और सौदा होने के बाद संवेदनशील जानकारियों को मेमोरी कार्ड को सैंडविच के अंदर छिपाकर विदेशी सरकार के एजेंट को दे रहा था. एफबीआई के मुताबिक न्यूक्लियर इंजीनियर ने नकली नाम से ईमेल अकाउंट बना रखा था और उसके जरिए वो बात कर रहा था. ये दंपति कोड वर्ड के जरिए मेल किया करता था, ताकि खुफिया एजेंसियों की आंख में धूल झोंक सके. इस इंजीनियर को परमाणु ऊर्जा अधिनियम के उल्लंघन का दोषी मानकर आरोपित किया गया है.
HIGHLIGHTS
- एफबीआई ने नकली ग्राहक बनकर तय किया सौदा
- 70 हजार ड़ॉलर में इंजीनियर दंपति ने किया था सौदा
- कोड-वर्ड से कर रहे थे बातचीत और सौदा