हैम्बर्ग में जी-20 सम्मेलन के दौरान शुक्रवार को सदस्य देशों के नेताओं ने वैश्विक आतंकवाद के खिलाफ लड़ने को लेकर प्रतिबद्धता जताई। इस दौरान जी20 नेताओं ने अंतर्राष्ट्रीय नियमों और मानव अधिकार कानूनों के तहत 21 सूत्रीय बातों पर भी सहमति जताई जिसकी मदद से वैश्विक आतंकवाद का सामना किया जाएगा।
जी-20 के नेताओं ने सहमति जताई कि आतंकी संगठनों को मिल रही मदद को रोकने के लिये प्रभावी तरीके से अंतर्राष्ट्रीय मानकों और नियमों को लागू करने के लिये कानूनी व्यवस्था को लागू किया जाएगा।
साथ ही यह बात भी कही गई कि छोटी आतंकी घटनाओं को अंजाम देने के लिये छोटे संगठन कहीं से भी आर्थिक मदद लेते हैं। जो एक बड़ी चुनौती है। ऐसे में सभी निजी क्षेत्रों की कंपनियों से से निवेदन किया गया कि कि वो इसे रोकें। साथ ही देश की सरकारें भी इस दिशा में प्रभावी कदम उठाएं।
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सभी देशों की सरकारों से अपील भी की गई कि वो आतंक में दी जा रही आर्थिक मदद को रोकें। जिसके तहत पूरे नेटवर्क को खत्म किया जा सके। उनको मिलने वाले हथियार, मादक द्रव्यों की तस्करी, स्मगलिंग और ऐतिहासिक सामानों की तस्करी को रोकने के लिये कदम उठाएं।
जी20 नेताओं ने सहमति जताई कि विश्व के किसी भी देश में आतंकियों को सुरक्षित माहौल प्रदान नहीं की जाए। हालांकि, यह भी माना गया कि कुछ ढिलाई के कारण कई देशों में ऐसा हो रहा है। साथ ही सहमति जताई गई कि सुरक्षा, यात्रा, प्रवास, डाटा की सुरक्षा और इंटरपोल में ज्यादा सहयोग को तवज्जो दी जाएगी।
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साथ ही आतंकवाद से लड़ाई में मीडिया, सिविल सोसायटी, धार्मिक संगठनो, बिजनेस समूहों और शिक्षण संस्थानों की मदद ली जाएगी और कट्टरता और आतंकवाद को खत्म करने की कोशिश होगी।
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Source : News Nation Bureau