बुर्का या हिजाब को लेकर देश और दुनिया में बहस छिड़ी हुई है. कई देशों ने इस पहनावे पर बैन लगा दिया है. वहीं कई इस मुद्दे पर विचार कर रहे हैं. इस बीच एक देश ऐसा है जिसने मुसि्लम देश होते हुए बड़ा निर्णय लिया है. ये है ताजिकिस्तान. यहां की संसद ने निर्णय है कि हिजाब और बुर्का पहनना कानून गलत होगा. इस पर रोक लगाने के लिए कानून पारित किया जा चुका है. इस बिल के पास होने पर ताजिकिस्तान की सरकार अब हिजाब और बुर्का बैन को लागू करने वाली है. इस तरह से पूरे देश में हड़कंप का माहौल है.
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कानून पारित होने के बाद देश के अलग-अलग हिस्सों में विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं. आपको बता दें कि सोवियत संघ से अलग होकर ताजिकिस्तान एक मुस्लिम बहुल देश है. इस देश की सीमा तालिबान शासित अफगानिस्तान से मिलती दिखाई देती है. इस फैसले से तजाकिस्तान के करीबी देशों में हंगामा खड़ा हो चुका है.
ताजिकिस्तान की संसद में 19 जून को ये विधेयक पारित किया गया
आपको बता दें कि अफगानिस्तान में बुर्का पहनना अनिवार्य माना गया है.ताजिकिस्तान की संसद में 19 जून को ये विधेयक पारित किया गया. इसमें ईद-उल-फितर और ईद-उल-अजहा के वक्त बच्चों को विदेशी पहनावे पर रोक लगाने का कानूनी प्रावधान है. यह कानून दोनों सदनों में पारित कर दिया गया. विधेयक में विदेशी परिधानों को पहनने पर रोक की सिफारिश हुई थी.
विधेयक को लेकर ये चर्चा सामने आई है कि ताजिकिस्तान संसद में कहा गया कि बुर्का जो महिलाओं के चेहरे को ढकता है वो देश की परंपरा और संस्कृति का हिस्सा नहीं है. इसकी वजह है कि ऐसे विदेशी पहनावे को उनके देश में रोक लगाई जाती है.
नए नियमों का पालन न करने पर भारीभरकम जुर्माने का प्रावधान किया गया है. इस विधेयक के तहत शख्स पर 7,920 (61,623 भारतीय रुपये) सोमोनी तक जुर्माना लग सकता है. वहीं, कंपनियों पर 39,500 सोमोनी तक का जुर्माना है. धार्मिक नेताओं ने इस मामले में और अधिक जुर्माने लगाने की बात कही है.
Source : News Nation Bureau