भारत और चीन के बीच हिंसक झड़प को लेकर तनाव बरकरार है. भारत में लोगों के अंदर चीन के धोखेबाजी को लेकर रोष का माहौल है. लोगों ने चीन को आर्थिक रूप से नुकसान पहुंचाने के लिए कमर कस ली है. इधर चीन जो अपने लोगों से सच छुपा रहा था कि गलवान में हुए हिंसक झड़प में चीनी सैनिकों की मौत नहीं हुई है उसे लेकर पहली बार बोला है.
भारत और चीन (China) के सैन्य अधिकारियों के बीच हुई बैठक में ड्रैगन ने स्वीकार किया है कि उसकी तरफ से कमांडिंग ऑफिसर (CO) समेत पीएलए बटालियन के दो अन्य अधिकारियों की मौत हुई है. मतलब गलवान घाटी में हुई हिंसक झड़प में चीन के तीन अधिकारियों की मौत हुई है. हालांकि चीन के 43 सैनिकों की इस झड़प में हताहत होने की खबर है.
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मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो चीन का कहना है कि वो अपने मारे गए सैनिकों की संख्या इसलिए नहीं बता रहा है कि ऐसा करने से दोनों देशों के बीच तनाव बढ़ सकता है. पूर्वी लद्दाख सीमा पर तनाव कम करने के लिए लगातार बैठक चल रही है. दोनों देशों के बीच सैन्य अधिकारियों में दो बार बातचीत हो चुकी है. मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो सोमवार को कोर कमांडर स्तर की 11 घंटे बैठक चली है.
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सोमवार को भारत और चीन के बीच मोल्डो में दोनों देशों के बीच हुई कमांडर स्तर की बातचीत के बाद पहले दोनों देशों के बीच सीमा पर सैनिकों को पीछे करने को लेकर सहमति बनी है. वहीं अब चीन के विदेश मंत्री ने कहा कि वह इस मामले को बातचीत और आपसी सहमति से सुलझाना चाहता है. चीन के विदेश मंत्री ने कहा कि 15 मई को गलवान घाटी में हुई झड़प के बाद सोमवार को पहली बार दोनों देशों के बीच कमांडर स्तर की बातचीत की गई. उन्होंने कहा कि भरोसा है कि इस मामले को दोनों देश बातचीत और आपसी सहमति से सुलझा लेंगे.
Source : News Nation Bureau