अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडन ने अपने समकक्ष चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग से ताइवान को लेकर अहम चर्चा की है. बाइडन का कहना है कि उन्होंने जिनपिंग से ताइवान को लेकर उकसावेपूर्ण कार्रवाई पर चर्चा की है. हम दोनों में इस बात पर चर्चा हुई कि ताइवान को लेकर हुए समझौते का दोनों पक्ष पालन करेंगे. यही नहीं, बाइडन ने दो टूक कहा कि उन्हें नहीं लगता है कि जिनपिंग समझौते से इतर कुछ और करने की सोच रहे हैं. इसके साथ ही अमेरिका ने ताइवान के लिए अपनी प्रतिबद्धता को अडिग बताया और चीन से कहा कि वह स्वशासित द्वीप के समीप चीनी सेना की उकसावे और अस्थिर करने वाली गतिविधियों पर निकटता से नजर रखता रहेगा.
सोमवार को चीनी वायुसेना के लड़ाकू विमानों ने की थी घुसपैठ
गौरतलब है कि ताइवान के रक्षा मंत्रालय ने कहा कि चीन के 56 लड़ाकू विमानों ने सोमवार को उसके वायु रक्षा क्षेत्र में घुसपैठ की थी. चीन ताइवान को अपना हिस्सा बताता है. हालांकि ताइवान अपने आप को संप्रभु देश बताता है. बीजिंग ने ताइवान के साथ एकीकरण के लिए बलप्रयोग की संभावना से इनकार नहीं किया है. चीन के युद्धक विमानों के आए दिन ताइवान के वायु रक्षा क्षेत्र में घुसने के मुद्दे पर सवालों का जवाब देते हुए व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव जेन साकी ने कहा, ‘हम ताइवान के समीप चीन की उकसावे वाली सैन्य गतिविधि को लेकर चिंतित हैं, जो क्षेत्रीय शांति एवं स्थिरता को कमतर करती है.’
बीजिंग से ताइवान के खिलाप दबाव रोकने का आह्वान
उन्होंने कहा, ‘हम बीजिंग से ताइवान के खिलाफ अपना सैन्य, कूटनीतिक और आर्थिक दबाव तथा बलपूर्वक कार्रवाई बंद करने का अनुरोध करते हैं. ताइवान जलडमरूमध्य में शांति एवं स्थिरता में हमारा स्थायी हित है, इसलिए हम आत्म-रक्षा की क्षमता बनाए रखने में ताइवान की सहायता करते रहेंगे.’ उन्होंने कहा कि ताइवान के लिए अमेरिका की प्रतिबद्धता अडिग है और वह ताइवान जलडमरूमध्य और क्षेत्र के भीतर शांति एवं स्थिरता बनाए रखना जारी रखेगा. साकी ने कहा, ‘हम ताइवान के प्रति चीन की दबाव और बलपूर्वक कार्रवाई को लेकर अपनी चिंता के बारे में स्पष्ट रहे हैं और हम स्थिति पर निकटता से नजर रखते रहेंगे.’
चीन की गतिविधियों से अमेरिका है चिंतित
इस बीच विदेश विभाग के प्रवक्ता नेड प्राइस ने भी पत्रकारों से कहा कि अमेरिका, ताइवान के समीप चीन की उकसावे वाली सैन्य गतिविधि को लेकर बहुत चिंतित है. कुछ विश्लेषकों का कहना है कि सैन्य विमानों की बढ़ती घुसपैठ को ताइवान के 10 अक्टूबर को राष्ट्रीय दिवस के मद्देनजर राष्ट्रपति साई इंग-वेन को चेतावनी के तौर पर देखा जा सकता है. चीन के विदेश मंत्रालय ने अमेरिका के बयान की निंदा करते हुए इसे गैरजिम्मेदाराना टिप्पणियां बताया. मंत्रालय की प्रवक्ता हुआ चुनयिंग ने सोमवार रात को एक प्रेस विज्ञप्ति में कहा, ‘अमेरिका की ओर से आयी टिप्पणिओं ने एक-चीन के सिद्धांत को नुकसान पहुंचाया है. हाल के दौर में अमेरिका ने ताइवान को हथियार बेचकर और अमेरिका तथा ताइवान के बीच अपने आधिकारिक सैन्य संबंधों को मजबूत करते हुए अपने नकारात्मक कार्यों को जारी रखा है.’
उकसावे वाले कदमों नें चीन-अमेरिका संबंधों को पहुंचाया नुकसान
उन्होंने कहा, ‘इन उकसावे वाले कदमों ने चीन-अमेरिका संबंधों को नुकसान पहुंचाया है और साथ ही क्षेत्रीय शांति एवं स्थिरता को भी नुकसान पहुंचाया है. चीन दृढ़ता से इसका विरोध करता है और इसके विरुद्ध आवश्यक कदम उठाता है.’ वहीं, एक अलग बयान में सांसद मार्को रुबियो ने कहा कि शुक्रवार से लेकर अब तक ताइवान के वायु रक्षा क्षेत्र में चीन के 145 लड़ाकू विमानों ने उड़ान भरी है. ये गतिविधियां ताइवान के राष्ट्रीय दिवस से कुछ दिनों पहले और चीन के राष्ट्रीय दिवस पर शुरू हुईं.
HIGHLIGHTS
- जो बाइडन ने की शी जिनपिंग से चर्चा
- ताइवान मसले पर जाहिर की है चिंता
- अमेरिका रख रहा है चीनी कदमों पर नजर