देश के जाने माने वकील हरीश साल्वे ने पाकिस्तान की जेल में बंद कुलभूषण जाधव का केस अंतर्राष्ट्रीय अदालत में लड़ने के लिए बतौर फीस महज एक रुपया लिया. वहीं, पाकिस्तान ने जाधव को जासूस साबित करने के लिए अपने वकील पर 20 करोड़ रुपये से अधिक खर्च कर दिए. तत्कालीन विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने 15 मई 2017 को एक ट्वीट में यह जानकारी दी थी कि हरीश साल्वे ने जाधव का केस लड़ने के लिए एक रुपये लिया है.
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वहीं, पाकिस्तान सरकार ने पिछले साल देश की संसद नेशनल असेंबली में बजट दस्तावेज पेश किया, जिसमें कहा गया कि द हेग में अंतर्राष्ट्रीय अदालत (आईसीजे) में जाधव का केस लड़ने वाले वकील खावर कुरैशी को 20 करोड़ रुपये दिए गए हैं. कैब्रिज यूनिवर्सिटी से कानून में स्नातक कुरैशी आईसीजे में केस लड़ने वाले सबसे कम उम्र के वकील भी हैं.
खस्ता आर्थिक हालात का सामना कर रहे पाकिस्तान के जाधव केस पर इतनी बड़ी राशि खर्च करने पर सरकार को भारी आलोचना का सामना करना पड़ा. वर्ष 2016 के पाकिस्तान के बजट में अग्नि सुरक्षा के लिए 18.3 करोड़, जेल प्रशासन के लिए 3.8 करोड़ और सार्वजनिक सुरक्षा, शोध एवं विकास के लिए 3.1 करोड़ रुपये ही आवंटित किए गए थे.
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भारत की कूटनीतिक व कानूनी जीत के हीरो रहे जून 1955 में जन्मे देश के जाने-माने वकील हरीश साल्वे, मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक उनकी एक दिन की फीस करीब 30 लाख रुपये है, लेकिन कुलभूषण जाधव का केस उन्होंने महज एक रुपये में लड़ा. वह 1999 से 2002 तक देश के सालीसीटर जनरल रहे. उनके पिता एनकेपी साल्वे पूर्व कांग्रेस सांसद और क्रिकेट प्रशासक थे. अप्रैल 2012 में उनका निधन हो गया था.
अंतरराष्ट्रीय कोर्ट में कुलभूषण जाधव मामले में बुधवार को भारत को बड़ी जीत हासिल हुई. अंतरराष्ट्रीय न्यायालय (ICJ) ने भारतीय नागरिक कुलभूषण जाधव की फांसी की सजा पर रोक लगाते हुए पाकिस्तान को इस सजा की समीक्षा और दोबारा विचार करने का आदेश दिया है. इस मामले में अहम भूमिका निभाई वकील हरीश साल्वे ने प्रेसवार्ता की और आईसीजे के फैसले से जुड़ी बातों को बताया. उन्होंने कहा, अंतरराष्ट्रीय कोर्ट में पाकिस्तान का झूठ बेनकाब हो गया है. इस मामले में भारत को जीत और पाकिस्तान को हार मिली है.
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गौरतलब है कि कुलभूषण जाधव पाकिस्तान की जेल में बंद है. कुलभूषण जाधव को पाकिस्तान की सैन्य अदालत ने फांसी की सजा सुनाई थी. इसके बाद भारत ने मई 2017 में अंतरराष्ट्रीय न्यायालय का दरवाजा खटखटाया था. अब अंतरराष्ट्रीय कोर्ट ने कुलभूषण जाधव पर फैसला सुनाते हुए फांसी पर रोक लगा दी है और पाकिस्तान को इस पर पुनर्विचार करने के लिए कहा है. पाकिस्तान अब कुलभूषण जाधव को फांसी नहीं दे सकता है. अंतरराष्ट्रीय कोर्ट के कुल 16 जजों में से 15 ने भारत के पक्ष में फैसला दिया है. कोर्ट में पाकिस्तान एक जज ने भारत के विरुद्ध फैसला दिया है. अब इस मामले पर दोबारा सुनवाई होगी.