ऐसा लग रहा है चौतरफा घिरे पाकिस्तान के कसे बल अब ढीले पड़ने शुरू हो रहे हैं. वैश्विक बिरादरी खासकर संयुक्त राष्ट्र के दबाव में उसे न सिर्फ अपनी जमीन से आतंक का उद्योग चला रहे आतंकी संगठनों पर कार्रवाई को बाध्य होना पड़ रहा है, बल्कि भारत में लोकसभा चुनाव के बाद भारी बहुमत से चुनकर आने वाली मोदी 2.0 सरकार को लेकर भी अपने रवैये में बदलाव लाने को मजबूर होना पड़ रहा है. हालांकि लाख टके का सवाल तो यही है कि क्या भारत पाकिस्तान की इस तरह की पहल का माकूल जवाब देगा या आतंकी समूहों पर ठोस कार्रवाई की मांग पर कायम रहेगा.
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पाक विदेश मंत्री ने जताई बातचीत की इच्छा
गौरतलब है कि पाकिस्तान के विदेश मंत्री शाह महमूद कुरैशी ने कहा है कि पाकिस्तान भारत की नई सरकार से सभी लंबित मुद्दों पर बातचीत को तैयार है. सरकारी रेडियो पाकिस्तान की खबर के अनुसार कुरैशी ने शनिवार रात मुल्तान में एक इफ्तार पार्टी को संबोधित करते हुए कहा कि भारत और पाकिस्तान दोनों को क्षेत्र की समृद्धि और शांति के लिए बातचीत कर मुद्दों को सुलझाना चाहिए. इससे दो दिन पहले ही भारतीय जनता पार्टी ने बड़े बहुमत से लोकसभा चुनाव में जीत हासिल की है और नरेंद्र मोदी दूसरी बार प्रधानमंत्री पद की शपथ लेने जा रहे हैं.
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इमरान खान ने भी ट्वीट कर दी पीएम मोदी को बधाई
इसके पहले पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने गुरुवार को मोदी की जीत पर उन्हें बधाई दी थी और क्षेत्र की शांति और समृद्धि के लिए मिलकर काम करने की इच्छा जताई थी. खान ने अंग्रेजी और उर्दू में ट्वीट किया था, 'मैं भाजपा और सहयोगी दलों की जीत पर प्रधानमंत्री मोदी को बधाई देता हूं. दक्षिण एशिया में शांति, प्रगति और समृद्धि के लिए उनके साथ काम करने को लेकर आशान्वित हूं.'
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पहले भी मोदी की जीत की कामना कर चुके हैं इमरान
यही नहीं, इमरान खान ने अप्रैल में कहा था कि उन्हें विश्वास है कि अगर आम चुनाव में मोदी जीतते हैं, तो भारत के साथ शांति वार्ता करने तथा कश्मीर मुद्दे के समाधान के लिए बेहतर अवसर मिल सकता है. भारत में आम चुनाव के नतीजे पाकिस्तान के लिए बहुत महत्वपूर्ण हैं क्योंकि नयी दिल्ली में नयी सरकार भारत-पाकिस्तान के संबंधों के भविष्य की दिशा पर विचार करेगी. गौरतलब है कि पुलवामा आतंकी हमले और उसकी प्रतिक्रिया स्वरूप बालाकोट सर्जिकल एयर स्ट्राइक के बाद से दोनों देशों के संबंधों में दरार और बढ़ गयी थी.
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किर्गिस्तान में मिले थे स्वराज और कुरैशी
हालांकि किर्गिस्तान में बिश्केक शंघाई सहयोग संगठन की बैठक के दौरान चुनाव परिणामों की घोषणा से एक दिन पहले ही कुरैशी और भारतीय विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने विदेश मंत्रियों की बैठक में एक दूसरे का हालचाल पूछा था. कुरैशी ने सुषमा स्वराज को संवाद के माध्यम से सभी मुद्दों के समाधान की पाकिस्तान की इच्छा से अवगत भी कराया था.
HIGHLIGHTS
- पाक विदेशमंत्री शाह महमूद कुरैशी ने फिर जताई भारत से बातचीत की इच्छा.
- इसके पहले इमरान खान भी ट्वीट पर जता चुके हैं ऐसी ही इच्छा.
- लाख टके का सवाल यह है कि भारत इस पर कोई जवाब भी देगा या नहीं.
Source : News Nation Bureau