पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान को एक बार फिर राहत मिली है. इस्लामाबाद की अदालत ने खान और उनकी पत्नी बुशरा बीबी को फर्जी निकाह केस में रिहा करने का आदेश दिया है. अदालत ने कहा है कि उन्हें तुरंत रिहा किया जाए. खान की पार्टी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (पीटीआई) ने अदालत के आदेश पर खुशी जताई है. पीटीआई चेयरमैन गौहर खान ने अदालत के फैसले को देश की जीत बताया है. बता दें, इमरान खान पिछले 350 दिनों से रावलपिंडी की उच्च सुरक्षा वाली अदियाला जेल में बंद हैं.
खान को इस्लामाबाद की एक अदालत ने पांच अगस्त 2023 को तोशाखाना मामले में दोषी करार दिया था, जिसके बाद खान को इस्लामाबाद के जमान पार्क स्थित घर से गिरफ्तार कर लिया गया था. खान को 30 जनवरी 2024 को साइफर मामले में 10 साल के जेल की सजा सुनाई गई. इसके बाद फर्जी निकाह केस में उन्हें बुशरा बीबी के साथ सात साल की सजा सुनाई गई. ट्रायल कोर्ट ने यह फैसला सुनाया था. हालांकि, हाल ही में इस्लामाबाद उच्च न्यायालय ने तोशाखाना और साइफर केस में उन्हें बरी कर दिया गया था. लेकिन फर्जी निकाह केस के कारण वे जेल में ही थे. अब अदालत के आदेश के बाद उम्मीद है कि इमरान जल्द जेल से बाहर आ सकते हैं.
अब भी जेल से बाहर निकलने में संशय
इमरान खान को तीनों मामलों में अब जमानत मिल गई है लेकिन उन पर 100 से अधिक मुकदमे चल रहे हैं. कानूनी एजेंसियां उन्हें किसी भी मामले में पकड़ सकती है. एजेंसियों किसी भी मामले में हिरासत में लेने के लिए अदालत में अपील कर सकती हैं. अगर अदालत ने अपील को मंजूर कर लिया तो खान का जेल से निकलना मुश्किल हो जाएगा.
क्या है फर्जी निकाह मामला
बुशरा बीबी के पहले पति खावर फरीद मनेका ने बुशरा और इमरान के खिलाफ यह केस दर्ज कराया था. उनके खिलाफ इद्दत की अवधि के दौरान शादी का अनुबंध करने का आरोप है. तीन फरवरी को अदालत ने उन्हें इस मामले में दोषी ठहराया. मामले में अदालत ने दोनों को सात साल की जेल और 5 लाख पाकिस्तनी रुपये का अर्थदंड दिया था.
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Source : News Nation Bureau