पनामा गेट मामले में दोषी करार दिए जाने के बाद पाकिस्तानी प्रधानमंत्री नवाज शरीफ के देश छोड़कर भागने की आशंका को देखते हुए लाहौर के हाई कोर्ट में याचिका दायर कर उनके नाम को एग्जिट कंट्रोल लिस्ट में शामिल किए जाने की मांग की गई है।
याचिका में शरीफ के साथ उनके परिवार के सदस्यों का भी नाम डालने की अपील की गई है। पनामा गेट मामले में सुप्रीम कोर्ट ने शरीफ को दोषी ठहराते हुए प्रधानमंत्री पद पर बने रहने के लिए अयोग्य का घोषित कर दिया था।
याचिका तब दायर की गई जब शरीफ और उसके पुत्र हुसैन और हसन, बेटी मरियम, दामाद कैप्टन (सेवानिवृत्त) सफदर और वित्त मंत्री इशाक दार पनामा गेट मामले में भ्रष्टाचार के आरोपो पर पूछताछ के लिए हाजिर नहीं हुए।
आपको बता दे एनएबी ने शरीफ और अन्य के खिलाफ समन जारी किया था। पनामा गेट मामले में उनसे लाहौर कार्यालय पूछताछ करने के लिए बुलाया था।
जस्टिस मामून रशीद ने बैरिस्टर जावेद इकबाल जाफरी द्वारा दायर याचिका स्वीकार करते हुए संघीय सरकार और गृह मंत्रालय 25 अगस्त तक अपना जवाब दे।
तीन प्वाइंट्स में समझें तीन तलाक पर सुप्रीम कोर्ट का ऐतिहासिक फैसला
जाफरी ने अपनी याचिका में कहा है, 'शरीफ और उनके बच्चे सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बावजूद एनएबी के सामने मनी लॉन्ड्रिंग और भ्रष्टाचार के आरोपों के संबंध में पूछताछ के लिए हाजिर नहीं हुए। इस बात की आशंका है कि वह देश छोड़कर भाग सकते हैं।'
अगर किसी व्यक्ति को एग्जिट कंट्रोल लिस्ट में शामिल किया जाता है तो उसके देश छोड़ने पर रोक लग जाता है और मामले की जांच चलने तक वह देश से बाहर नहीं जा सकता।
तीन तलाक पर SC के फैसले से खत्म हो जाएगा विवाद: कांग्रेस
Source : News Nation Bureau