भारत और चीन (India- china) के बीच तनाव को देखते हुए पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान (Imran Khan) मौके का फायदा उठाना चाहते हैं. लेकिन पाकिस्तान के विदेश विभाग ने इमरान खान को इसके लिए सीधे तौर पर चेतावनी दी है. विदेश विभाग ने कहा कि अगर पाकिस्तान ने चीन का समर्थन करना नहीं छोड़ा तो उसे वैश्विक स्तर पर अलगाव का सामना करना पड़ेगा.
पाकिस्तान विदेश विभाग ने कहा कि भारत से तनातनी और कोरोना संकट के कारण चीन अंतरराष्ट्रीय स्तर पर आलोचना का सामना कर रहा है. अगर पाकिस्तान चीन के साथ अपनी नीतियों की समीक्षा नहीं करता है तो उसे विश्व की आर्थिक महाशक्तियों के गुस्से का सामना करना पड़ सकता है. जो भारत के साथ टकराव के बाद चीन को विश्व स्तर पर बहिष्कृत करने का काम कर रही है.
इसे भी पढ़ें: इमरान खान ने कहा- हर कीमत पर चीन पाकिस्तान आर्थिक गलियारे को पूरा करेंगे
कोरोना वायरस और विस्तारवादी नीतियों की वजह से चीन की खिलाफ अब अमेरिका समेत यूरोप के कई देश करने लगे हैं. जापान भी चीन के खिलाफ हो गया है. पाकिस्तान चीन का समर्थन कर रहा है. जिसका झटका उसे लग भी गया है. यूरोपीय यूनियन और ब्रिटेन ने पाकिस्तानी एयरलाइंस के विमानों के उड़ान भरने के लिए प्रतिबंधित कर दिया.
और पढ़ें: सौरव गांगुली मुझे हमेशा टॉस के लिए इंतजार कराते थे : नासिर हुसैन
इधर, पीएम इमरान खान ने कहा कि चाहे जो भी हो जाए उनकी सरकार महत्वाकांक्षी चीन-पाकिस्तान आर्थिक गलियारे (सीपीईसी) को किसी भी कीमत पर पूरा करेगी. उन्होंने कहा कि 60 अरब डॉलर की यह परियोजना दो देशों की सदाबहार दोस्ती की प्रतीक है. स्थानीय अखबार डॉन की एक खबर के अनुसार, खान ने सीपीईसी परियोजना की प्रगति की समीक्षा के लिये यहां आयोजित एक बैठक में कहा कि यह पाकिस्तान के आर्थिक व सामाजिक विकास के लिये शानदार परियोजना है.
Source : News Nation Bureau