प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रूस के राष्ट्रपति व्लादिमिर पुतिन के साथ हुआ बातचीत में पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी का जिक्र कई बार किया। वाजपेयी का ज़िक्र कर रूस के साथ मजबूत रणनीतिक रिश्ते पर जोर देने की कोशिश माना जा रहा है।
प्रधानमंत्री इस समय रूस के राष्ट्रपति के साथ पहली अनौपचारिक शिखर वार्ता हुई। जिस दौरान उन्होंने पीर्व प्रधानमंत्री और बीजेपी के राजनेता का जिक्र करीब सात बार किया।
दरअसल साल 2000 में पुतिन जब राष्ट्रपति बने थे तब भारत के प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी थे।
प्रधानमंत्री मोदी ने वाजपेयी के प्रधानमंत्री रहते राष्ट्रपति के तौर पर पुतिन की पहली भारत यात्रा का जिक्र किया।
पीएम मोदी ने कहा, 'उस समय आपने भारत और रूस के संबंधों को परिभाषित करने के लिये दोनों देशों की सभ्यता और मजबूत लोकतंत्र की तारीफ की थी। '
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पीएम ने साल 2000 में दिये पूर्व-प्रधानमंत्री वाजपेयी के बयान को दोहराते हुए कहा, 'लंबे समय तक रूस का दोस्त होने के नाते हम एक मजबूत और आत्मविश्वास के भरा रूस देखना चाहते हैं जिसका इस बहुध्रुवीय विश्व में महत्वपूर्ण भूमिका होगी।'
पीएम मोदी ने कहा, 'ये हमारे लिये प्रसन्नता की बात है कि अटल बिहारी वाजपेयी का वो सपना और दूरदर्शिता साकार हो रहा है।'
पीएम मोदी ने कहा कि दोनों देशों की रणनीतिक साझेदारी अब उंचाई को प्राप्त कर एक 'विशेष रणनीतिक साझेदार' बन चुका है जो बड़ी उपलब्धि है।
उन्होंने वाजपेयी के साथ 2001 में रूस की यात्रा का भी जिक्र किया जब वो गुजरात के मुख्यमंत्री के तौर पर वहां गए थे और पुतिन से मुलाकात की थी। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री के तौर पर ये उनकी ऐसी पहली मुलाकात थी जिसमें उन्होंने किसी ग्लोबल नेता से मुलाकात की थी।
उन्होंने कहा, 'मेरे राजनीतिक जीवन में रूस और आप (पुतिन) का खास स्थान है... एक मुख्यमंत्री के तौर पर ये मवेरी पहली विदेशी नेता के साथ मुलाकात थी।'
उन्होंने कहा, 'ऐसे में मेरे अंतरराष्ट्रीय संबंधों की शुरुआत आपसे और रूस से शुरू हुई।'
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Source : News Nation Bureau