सऊदी अरब ने ऐतिहासिक फैसला लेते हुए पूरी दुनिया का ध्यान आकर्षित किया है. तो चलिए अब आपको इस ऐतिहासिक फैसले के बारे में बता दें. सऊदी अरब ने अपने यहां नाबालिग अपराधियों को मृत्युदंड की सजा को खत्म कर दिया है. सऊदी अरब के इस ऐतिहासिक फैसले के बाद पूरी दुनिया में उसकी जमकर तारीफ हो रही है. इसके अलावा सऊदी अरब ने बीते शनिवार को सार्वजनिक रूप से कोड़े मारने की सजा भी खत्म कर दी है. आपको बता दें कि पिछले कुछ सालों से सऊदी के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान राज्य की छवि सुधारने में काफी अच्छे काम किए हैं.
आपको बता दें कि सऊदी अरब में मानवाधिकारों को लेकर बेहद खराब रिकॉर्डरहा है, लेकिन पिछले कुछ समय से सऊदी क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान ने राज्य की छवि सुधारने के लिए कई बेहतरीन कदम उठाए हैं. अब सऊदी अरब में नाबालिगों को सजा-ए-मौत की जगह जुवेनाइल डिटेंशन फैसिलिटी में अधिकतम 10 सालों की सजा दी जाएगी. अवाद ने इस फैसले पर खुशी जाहिर की और कहा कि सऊदी अरब के इतिहास में यह दिन सुनहरे अक्षरों में लिखा जाएगा.
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आपको बता दें कि मौजूद समय में सऊदी सरकार के इस फैसले से शिया समुदाय के 6 लोगों को तत्काल राहत मिलेगी, क्योंकि इन्हें मृत्युदंड मिला हुआ है. इन नाबालिग आरोपियों ने अरब स्प्रिंग आंदोलन में सरकार के विरोध में प्रदर्शन किया था. आपको बता दें कि अरब स्प्रिंग आंदोलन के समय इन आरोपियों की उम्र 18 साल से कम थी. संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार कार्यकर्ताओं ने सऊदी सरकार से इन नाबालिगों की फांसी को रोकने की अपील की थी.
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आपको बता दें कि पूरी दुनिया इस बात से वाकिफ है कि सजा देने के मामले में सऊदी अरब में सबसे ज्यादा कठोर कानून है. सऊदी अरब में किसी भी जुर्म के लिए उसके मुताबिक ही सजा दी जाती है मतलब ड्रग ट्रैफिकिंग, आतंकवाद, बलात्कार सहित कई अन्य बड़े मामलों में सजा-ए-मौत दिए जाने का नियम है. एक आधिकारिक के मुताबिक सऊदी अरब में साल 2019 के दौरान 187 लोगों को मौत की सजा दी गई.