जम्मू एवं कश्मीर(Jammu and kashmir) के पुलवामा(Pulwama) में आतंकवादी हमला होने के बाद वरिष्ठ भारतीय अभिनेत्री शबाना आजमी(shabana azmi) और उनके गीतकार-लेखक पति जावेद अख्तर(jawed akhtar) द्वारा उनका कराची दौरा रद्द करने के बाद 'आर्ट्स काउंसिल ऑफ पाकिस्तान' ने इन दोनों की निंदा की है. पुलवामा में हुए आत्मघाती हमले में सीआरपीएफ के 49 जवान शहीद हुए थे. शबाना आजमी और जावेद अख्तर, दोनों लोग कराची में शबाना आजमी के पिता व शायर कैफी आजमी के शताब्दी समारोह में शामिल होने वाले थे.
समाचार पत्र 'द डॉन' ने रविवार को काउंसिल के अध्यक्ष अहमद शाह के हवाले से लिखा, "शबाना ने जिस तरह से पाकिस्तान पर हमला किया, उन्होंने हद पार कर दीं. यह तरीका एक सभ्य इंसान के लिए उचित नहीं है."
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उन्होंने कहा, "मुझे शबाना आजमी के लिए दुख होता है कि उन्होंने उम्मीद खो दी है. मैं उनकी आलोचना नहीं कर रहा लेकिन पुलवामा हमले के बाद बाद जिस तरह से उन्होंने निराशा जताई इससे मुझे वाकई बहुत दुख हुआ."उन्होंने कहा, "हमें पूरा विश्वास है कि कलाकार और अपने साहित्य और कला में योगदान के लिए माने जाने वाले लोग ही उम्मीद जगाते हैं. वे कभी निराश नहीं करते. लेकिन, इस समय शबाना आजमी बहुत निराश लग रही हैं."
काउंसिल 23-24 फरवरी को कैफी आजमी की जन्मशती मना रही है जिसमें पाकिस्तान और दुनिया के अन्य देशों के कई प्रसिद्ध कविओं और साहित्यिक हस्तियों को आमंत्रित किया गया है. पुलवामा में जम्मू-श्रीनगर राजमार्ग पर सीआरपीएफ के काफिले पर आत्मघाती हमले के अगले दिन शुक्रवार को दोनों कलाकारों ने अलग-अलग ट्वीट कर अपने पूर्वनियोजित कार्यक्रम को रद्द करने की घोषणा की थी.
शबाना ने लिखा था, "इन सालों में पहली बार मुझे मेरा विश्वास कमजोर होता नजर आया है कि लोगों के बीच संपर्क होने से सत्ता प्रतिष्ठान को सही काम करने पर मजबूर कराया जा सकता है. हमें सांस्कृतिक आदान-प्रदान रोकना होगा." जावेद ने और ज्यादा कटु भाषा का उपयोग किया था.
शाह ने कहा, "जावेद में कश्मीर में अत्याचारों के लिए अपने प्रधानमंत्री (नरेंद्र) मोदी पर आरोप लगाने की हिम्मत होनी चाहिए." 'द डॉन' के अनुसार, उन्होंने कहा कि आर्ट काउंसिल ने शबाना की इच्छा का सम्मान किया था और कैफी आजमी की प्रगतिशील काव्य रचनाओं वाली एलबम को लांच करने के लिए परियोजना शुरू की.
इसके लिए संगीतकार अरशद महमूद ने कुल नौ में से छह गीत तैयार कर लिए हैं जो पाकिस्तानी लोगों के निष्पक्ष और कला-प्रेमी रवैये को दिखाता है.
Source : IANS