दुनिया भर के बाजारों में मंदी के असर के पीछे अमेरिका और चीन के बीच चल रहे ट्रेड वाॅर है. इससे भारतीय अर्थव्यवस्था भी अछूती नहीं है. केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण शुक्रवार को जिस समय प्रेस कांफ्रेंस कर बता रहीं थीं कि अमेरिका और चीन के बीच चल रहे ट्रेड वार के कारण मंदी के संकट को बढ़ावा मिला है. ठीक उसी वक्त चीन ने अमेरिका को झटका देते हुए चीन ने अमेरिका के 75 बिलियन डॉलर के आयात पर नए टैरिफ लगाने का ऐलान कर दिया.
इसके जवाब में अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने बीजिंग से दो टूक कहा कि अमेरिका को चीन की जरूरत नहीं है. ट्रंप ने ट्वीट कर कहा है कि हमारा देश कई वर्षों में चीन के साथ व्यापार कर अरबों डॉलर का नुकसान कर चुका है.
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अमेरिका चीन के 250 अरब डॉलर के सामान पर 25 प्रतिशत अतिरिक्त शुल्क लगा चुका है. अगले महीने से चीन के शेष 300 अरब डॉलर के सामान पर भी अतिरिक्त 10 प्रतिशत शुल्क प्रभावी होने वाला है.
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चीनी स्टेट काउंसिल ने कहा कि 75 बिलियन अमेरिकी माल पर 5% से 10% तक टैरिफ लगाने का फैसला लिया गया है. ट्रंप ने ट्वीट कर कहा है कि हमारा देश कई वर्षों में चीन के साथ व्यापार कर अरबों डॉलर का नुकसान कर चुका है.
Our Country has lost, stupidly, Trillions of Dollars with China over many years. They have stolen our Intellectual Property at a rate of Hundreds of Billions of Dollars a year, & they want to continue. I won’t let that happen! We don’t need China and, frankly, would be far....
— Donald J. Trump (@realDonaldTrump) August 23, 2019
उन्होंने हमारी बौद्धिक संपदा को एक साल में सैकड़ों अरबों डॉलर की दर से चुराया है और वे चोरी जारी रखना चाहते हैं. मैंने ऐसा नहीं होने दिया ! हमें चीन की जरूरत नहीं है. आपकी कंपनियां होम और यूएसए में अपने उत्पाद बनाती हैं. मैं आज दोपहर को चीन के शुल्क का जवाब दूंगा.
....your companies HOME and making your products in the USA. I will be responding to China’s Tariffs this afternoon. This is a GREAT opportunity for the United States. Also, I am ordering all carriers, including Fed Ex, Amazon, UPS and the Post Office, to SEARCH FOR & REFUSE,....
— Donald J. Trump (@realDonaldTrump) August 23, 2019
यह संयुक्त राज्य अमेरिका के लिए एक महान अवसर है. इसके अलावा, मैं फेड एक्स, अमेज़ॅन, यूपीएस और पोस्ट ऑफिस सहित सभी वाहक को आदेश दे रहा हूं चीन से बाहर निकले. राष्ट्रपति शी ने कहा कि यह बंद हो जाएगा - यह नहीं हुआ. हमारी अर्थव्यवस्था पिछले 2 1 वर्षों में चीन की तुलना में बहुत बड़ी है. हम इसे वैसे ही रखेंगे!
हमेशा की तरह फेड ने कुछ नहीं किया! यह अविश्वसनीय है कि वे बिना जाने या पूछें कि मैं क्या कर रहा हूं, जिसकी घोषणा जल्द ही की जाएगी. हमारे पास बहुत मजबूत डॉलर और बहुत कमजोर फेड है. मैं दोनों के साथ "शानदार" काम करूंगा और यू.एस. बहुत अच्छा करेगा .मेरा एकमात्र सवाल यह है कि हमारे बड़े दुश्मन जे पावेल या चेयरमैन शी कौन हैं?
....My only question is, who is our bigger enemy, Jay Powell or Chairman Xi?
— Donald J. Trump (@realDonaldTrump) August 23, 2019
बता दें कि चीनी स्टेट काउंसिल ने कहा कि 75 बिलियन अमेरिकी माल पर 5% से 10% तक टैरिफ लगाने का फैसला लिया गया है. चीन के वाणिज्य मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि यह संयुक्त राज्य अमेरिका से उत्पन्न कुल 5,078 उत्पादों पर 5% या 10% का अतिरिक्त शुल्क लगाएगा, जिसमें सोयाबीन, कच्चा तेल और छोटे विमान जैसे कृषि उत्पाद शामिल हैं. चीन संयुक्त राज्य अमेरिका से उत्पन्न होने वाली कारों और ऑटो भागों पर शुल्क भी बहाल कर रहा है.
चीनी मंत्रालय ने एक बयान में कहा, "अतिरिक्त टैरिफ को लागू करने के फैसले को अमेरिका के एकपक्षीयता और संरक्षणवाद द्वारा मजबूर किया गया था," यह कहते हुए कि टैरिफ टैरिफ भी सेप्ट 1 और 15 दिसंबर को दो चरणों में लागू होंगे. चीन के टैरिफ की खबरों पर अमेरिकी इक्विटी सूचकांक वायदा गिर गया.
China announced that it will impose additional tariffs on $75 billion of U.S. goods in retaliation for Trump’s latest planned levies on Chinese imports.
The measures include an added 5% tariff on soybeans and an extra 10% on American pork https://t.co/x3aa0D03Ap pic.twitter.com/jUdjALMAKB
— Bloomberg (@business) August 23, 2019
व्हाइट हाउस के व्यापार सलाहकार पीटर नवारो ने फॉक्स बिजनेस न्यूज को अलग से बताया कि चीन के साथ व्यापार वार्ता अभी भी बंद दरवाजों के पीछे चलेगी.
Source : न्यूज स्टेट ब्यूरो