अमेरिका में 'पे एंड स्टे' विश्वविद्यालय वीजा घोटाले में अमेरिकी अधिकारियों द्वारा गिरफ्तार किए गए 129 भारतीय छात्रों को लेकर भारत में कई सवाल खड़े किए जा रहे हैं. मसलन अगर वो दोषी पाए गए तो उनकी स्वदेश वापसी होगी, उनको क्या सज़ा हो सकती है, क्या यह डोनल्ड ट्रंप की अवैध प्रवासन नीति की वजह से हो रहा है? न्यूज़ नेशन ने इन तमाम सवालों के जवाब जानने के लिए अमेरिकी गृह सुरक्षा विभाग से बातचीत की है. अमेरिकी गृह सुरक्षा विभाग ने स्पष्ट करते हुए कहा है कि अगर यह सभी छात्र दोषी पाए जाते हैं तो उन्हें अपने देश भेजा जाएगा और वहीं पर मुकदमा चलाया जाएगा. हालांकि इस मुद्दे को लेकर उन्होंने विस्तृत रुप से कुछ भी कहने से मना कर दिया है. उन्होंने कहा, 'फ़िलहाल इस मामले की जांच चल रही है इसलिए इस मामसे में ज़्यादा कुछ कहना ठीक नहीं रहेगा.'
जब उनसे पूछा गया कि क्या यह डोनल्ड ट्रंप की अवैध प्रवासन नीति की वजह से हो रहा है? तो उन्होंने जवाब में कहा कि 'अगर यह किसी अन्य विभाग का भी मामला हुआ तो भी सभी व्यक्तियों पर यह चार्ज लगा रहेगा.'
गौरतलब है कि अमेरिका में बने रहने के लिए एक फर्जी विश्वविद्यालय में दाखिला लेने के लिए गिरफ्तार किए गए 130 विदेशी छात्रों में 129 भारतीय हैं. इस मामले में भारतीय दूतावास ने 129 भारतीय छात्रों की मदद के लिए 24/7 हॉटलाइन शुरू की है.
अधिकारियों ने शुक्रवार को बताया कि भारतीय दूतावास के दो वरिष्ठ अधिकारी दो नंबरों 202-322-1190 और 202-340-2590 पर चौबीस घंटे उपलब्ध रहेंगे. इसके अलावा गिरफ्तार छात्र, उनके दोस्त और परिवार के सदस्य दूतावास से cons3.washington@mea.gov.in संपर्क कर सकते हैं.
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भारतीय दूतावास ने भारतीयों द्वारा चलाए जा रहे 'पे एंड स्टे' गिरोह का भंडाफोड़ होने से प्रभावित हुए भारतीय छात्रों की मदद से संबंधित सभी मुद्दों से निपटने के लिए एक नोडल अधिकारी नियुक्त किया है. इस घटना से कम से कम 600 छात्र मुसीबत में फंस गए हैं. अमेरिका के आव्रजन एवं सीमा शुल्क प्रवर्तन विभाग ने गुरुवार तक ग्रेटर डेट्रॉइट इलाके में फर्मिंगटन विश्वविद्यालय से 130 छात्रों को गिरफ्तार किया था.
Source : News Nation Bureau