पाकिस्तान के लोग हर तरफ से महंगाई की मार का सामना कर रहे हैं. पेट्रोल-डीजल के रेट आसमान छू रहे हैं. बिजली की बढ़ी कीमतों को लेकर आवाम विरोध प्रदर्शन कर रही है. इसी बीच यहां की सरकार को अरबों डॉलर की चपत लगी है. पाकिस्तान कम होते विदेशी मु्द्रा भंडार से परेशान है. अब उन्हें मजबूरन 10 लाख मीट्रिक टन चीनी का आयात करने पर मजबूर होना पड़ रहा है. आपको बता दें कि चीनी मिल मालिकों की ओर ये जानकारी सरकार को दी गई किे देश में चीनी का पर्याप्त स्टॉक है. ऐसे में सरकार की ओर से इसके निर्यात की अनुमति दे दी गई. यह वर्तमान हालत से बिल्कुल विपरीत स्थिति में थी. इसके कारण देश में चीनी की किल्लत शुरू हो गई.
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अचानक देश में चीनी के दाम 200 रुपये प्रति किलो के पार पहुंच गए हैं . इस तरह से बाजार में चीनी के लिए मारामारी शुरू हो गई है. अब पाकिस्तान सरकार ने 10 लाख मीट्रिक टन चीनी मौजूदा कीमत पर आयात करने का फैसला लिया ताकि घरेलू दाम कंट्रोल हो सके.
करीब 10 लाख मीट्रिक टन चीनी का स्टॉक होने बावजूद पाकिस्तान के पंजाब खाद्य विभाग ने निकट भविष्य में चीनी संकट के बारे में चेताया है. पाकिस्तान सरकार के पास अब संकट को कम करने को लेकर बचे हुए स्टॉक को उपयोग करने के आलावा और कोई विकल्प नहीं है. आवाम को 100 रुपये प्रति किलो के आधिकारिक दाम के बजाय चीनी के लिए 220 रुपये तक चुकाने पड़ रहे हैं.
पाकिस्तानी सरकार को अब चीनी की भरपाई पूरी करने के लिए 1 मिलियन मीट्रिक टन चीनी आयात करने का फैसला लिया है. पाकिस्तान पहले से ही डॉलर की कमी से जूझ रहा है. ऐसे में पाकिस्तान के लिए आने वाले वक्त में परेशानियां बढ़ सकती हैं.
Source : News Nation Bureau